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  • कृषि मंत्री Edal Kanshana ने कहा कि प्रदेश में उर्वरकों की कोई कमी नहीं है

    कृषि मंत्री Edal Kanshana ने कहा कि प्रदेश में उर्वरकों की कोई कमी नहीं है

    कृषि मंत्री Edal Kanshana श्यामला हिल्स स्थित निवास पर मीडिया से चर्चा में यह बातें कही।

    किसान कल्याण एवं कृषि विकास मंत्री श्री एदल सिंह कंषाना ने कहा है कि प्रदेश में उर्वरकों की कोई कमी नहीं है। राज्य सरकार ने खरीफ में किसानों को आवश्‍यक मात्रा में उर्वरक उपलब्‍ध कराया है और रबी में भी इसी प्रकार से किसानों की आवश्‍यकतानुसार उर्वरक उपलब्‍ध करायेगें। मंत्री श्री कंषाना श्यामला हिल्स स्थित निवास पर मीडिया से चर्चा में यह बातें कही।

  • कृषि विकास मंत्री Edal Kanshana: किसानों को व्यवस्थित तरीके से हो खाद का वितरण

    कृषि विकास मंत्री Edal Kanshana: किसानों को व्यवस्थित तरीके से हो खाद का वितरण

    कृषि विकास मंत्री Edal Kanshana ने कहा कि प्रदेश में कहीं भी खाद की कालाबाजारी नहीं हो।

    किसान कल्याण एवं कृषि विकास मंत्री Edal Kanshana ने कहा है कि प्रदेश में कहीं भी किसानों को खाद की समस्या उत्पन्न न हो। किसानों को व्यवस्थित तरीके से खाद का वितरण सुनिश्चित किया जाये। मंत्री श्री कंषाना श्यामला हिल्स स्थित निवास पर प्रबंध संचालक मार्कफेड श्री आलोक कुमार सिंह, संचालक कृषि श्री अजय गुप्ता एवं अन्य अधिकारियों के साथ प्रदेश में खाद वितरण की व्यवस्था पर चर्चा कर रहे थे।
  • CM Dr. Yadav: सिंहस्थ के वैश्विक आयोजन के लिये अभी से करें तैयारियाँ

    CM Dr. Yadav: सिंहस्थ के वैश्विक आयोजन के लिये अभी से करें तैयारियाँ

    CM Dr. Yadav: सिंहस्थ-2028 के 19 कार्यों के लिये 5 हजार 882 करोड़ रूपये की मंजूरी

    • मुख्यमंत्री की अध्यक्षता वाली मंत्री-मंडलीय समिति ने दी मंजूरी

    CM Dr. Yadav ने कहा है कि सनातन धर्म की सभी सन्यासी परम्पराओं के सभी वैष्णव और शैव संत 12 साल में सिंहस्थ में आते हैं और भविष्य में सनातन धर्म की दिशा, आचरण, स्वरूप तय करते है। मानवता की स्थापना के लिये सर्वोच्च सिंहस्थ मेला-2028 में पुन: होने वाला है। सिंहस्थ की तैयारियाँ अभी से प्रारंभ की जा चुकी है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि वैश्विक आयोजन सिंहस्थ के माध्यम से भारत दुनिया का नेतृत्व करेगा। इसकी समुचित तैयारियां की जा रही हैं।

    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि देश के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक महाकाल ज्योर्तिलिंग उज्जैन के महाकाल लोक और दूसरे ज्योर्तिलिंग ओंकारेश्वर में बड़ी संख्या में पर्यटक आते हैं। मध्यप्रदेश की पहचान धार्मिक नगरी उज्जयिनी में हर 12 वर्ष में होने वाले सिंहस्थ के रूप में होती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस दृष्टि से सिंहस्थ प्रदेश के साथ ही राष्ट्र के लिये एक महत्वपूर्ण आयोजन है। पूरे विश्व में इसकी गूंज होती है। उन्होंने कहा कि सिंहस्थ में आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों को अधिक से अधिक सुविधाएँ देने के लिए नये निर्माण कार्य भी कराये जा रहे हैं। साथ ही वर्तमान सुविधाओं को उन्नयन भी किया जा रहा है। सिंहस्थ की सफलता के लिये अभी से तैयारियाँ शुरू करनी होगी इन सभी कार्यों को शासकीय विभाग और अन्य उपक्रम तालमेल के साथ पूर्ण करने के लिये जुटना होगा। उन्होंने कहा कि ऐसी योजना तैयार की जाये कि क्षिप्रा नदी हर हाल में पूरी तरह से प्रदूषण मुक्त हो और क्षिप्रा नदी में निरंतर शुद्ध जल का अविरल प्रवाह हो। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सिंहस्थ-महाकुंभ में दुनिया भर से करीब 15 करोड़ लोगों के शामिल होने की संभावना है। इस वजह से उज्जैन में ट्रैफिक व्यवस्था बनाये रखना बड़ी चुनौतीपूर्ण होगा।

    सिंहस्थ-2028 के 19 कार्यों के लिये 5 हजार 882 करोड़ रूपये की मंजूरी दी गई है। यह मंजूरी मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में हुई मंत्री-मंडलीय की पहली बैठक में दी गई। बैठक में जल संसाधन, नगरीय प्रशासन एवं विकास, ऊर्जा, लोक निर्माण, संस्कृति एवं पुरातत्व विभाग के कार्यों को मंजूरी दी गई है।

    मंत्री-मंडलीय समिति ने जिन कार्यों को स्वीकृति दी है। उनमें 778 करोड़ 91 लाख रूपये के 29.21 किलोमीटर घाट निर्माण, 1024 करोड़ 95 लाख रूपये का 30.15 किलोमीटर कान्ह नदी का डायवर्सन, 614 करोड़ 53 लाख रूपये के सिंहस्थ के लिये क्षिप्रा नदी में जल निरंतर प्रवाह योजना (सिलारखेड़ी-सेवरखेड़ी बांध) का निर्माण, 74 करोड़ 67 लाख रूपये के क्षिप्रा नदी पर प्रस्तावित 14 बैराजों का निर्माण, 43 करोड़ 51 लाख रूपये के कान्ह नदी पर प्रस्तावित 11 बैराजों का निर्माण, 198 करोड़ रूपये से उज्जैन शहर की सीवरेज परियोजना, 250 करोड़ रूपये से अति. उच्च दाब से संबंधित कार्य के नवीन ईएचवी उपकेन्द्र का निर्माण, 16 करोड़ 80 लाख रूपये से अति. उच्चदाब केन्द्र क्षमतावृद्धि का निर्माण, 29 करोड़ 83 लाख रूपये का नवीन 33/11 के.व्ही. का निर्माण, 4 करोड़ 50 लाख रूपये से 33 के.व्ही. लाईन एवं इन्टर कनेक्शन एवं नवीन उपकेन्द्र से संबंधित कार्य (10 किलोमीटर), 18 करोड़ 36 लाख रूपये से के.व्ही. लाईन एवं इन्टर कनेक्शन एवं नवीन उपकेन्द्र से संबंधित (80 किलोमीटर) का निर्माण और 10 करोड़ 8 लाख रूपये का भूमिगत केबल कार्य (औंकारेश्वर बजट) का निर्माण शामिल है।

    इसी तरह 18 करोड़ रूपये का शंकराचार्य चौराहा से दत्त अखाड़ा, भूखीमाता, उजड़खेड़ा हनुमान से उज्जैन बड़नगर मार्ग का निर्माण, 18 करोड़ रूपये का खाक-चौक, वीर सावरकर चौराहा, गढ़कालिका, भर्तहरीगुफा से रंजीत हनुमान तक मार्ग एवं क्षिप्रा नदी पर पुल का निर्माण, 40 करोड़ रूपये से सिद्धवरकूट से कैलाश खोह तक सस्पेंशन ब्रिज पहुँच मार्ग प्रोटेक्शन कार्य सहित (ओंकारेश्वर में कावेरी नदी पर पैदल पुल सहित ओंकारेश्वर घाट से सिद्धवरकूट तक पहुँच मार्ग का निर्माण), 1692 करोड़ रूपये से इंदौर उज्जैन विद्यमान 4 लेन मार्ग का 6 लेन मय पेव्हड शोल्डर मे हाईब्रिड एन्यूटी मॉडल अंतर्गत उन्नयन एवं निर्माण, 950 करोड़ रूपये से इंदौर-उज्जैन ग्रीनफील्ड 4 लेन परियोजना का हाइब्रिड एन्युटी मॉडल पर निर्माण कार्य, 75 करोड़ रूपये से महाकाल लोक कॉरीडोर में स्थित फाइबर की प्रतिमाओं के स्थान पर पाषाण प्रतिमाओं का निर्माण, स्थापना एवं आवश्यक विकास कार्य और कुम्भ संग्रहालय, काल गणना शोध केन्द्र उज्जैन का अनुरक्षण एवं विकास कार्य शामिल है।

    सिंहस्थ के लिये 568 कार्यों के प्रस्ताव प्राप्त

    अपर मुख्य सचिव नगरीय प्रशासन एवं आवास श्री नीरज मंडलोई ने बताया कि अभी तक सिंहस्थ-2028 के लिये 18 विभागों के 568 कार्यों के प्रस्ताव प्राप्त हुए है। जिनकी अनुमानित लागत 15 हजार 567 करोड़ रूपये है। इन कार्यों में विभागीय, सिंहस्थ मद और बीओटी आदि के कार्य शामिल है। मध्यप्रदेश मेट्रो रेल कार्पोरेशन ने जानकारी दी कि इंदौर में लव-कुश चौराहे से उज्जैन तक नवीन मेट्रो लाईन बिछाये जाने का सर्वेक्षण कार्य दिल्ली रेल मेट्रो कार्पोरेशन को सौंपा गया है।

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  • राज्यपाल Mr. Patel: लोक सेवा, वंचितों की सेवा करने का सुअवसर

    राज्यपाल Mr. Patel: लोक सेवा, वंचितों की सेवा करने का सुअवसर

    राज्यपाल Mr. Patel से राजभवन में प्रशिक्षु डिप्टी कलेक्टरों ने की मुलाकात

    राज्यपाल Mr. Patel ने कहा कि लोकसेवा पात्र, जरूरतमंदों और गरीबों की सेवा करने का सुअवसर है। उन्होंने डिप्टी कलेक्टरों से कहा कि “लोकसेवा” शब्द का अर्थ गहराई से समझें। जनता की सेवा के भाव को अपने मन में सदैव सबसे ऊपर रखें।  सेवाकाल में ईमानदारी और निष्ठा से काम करने में ही जीवन की सार्थकता है।

    राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल नरोन्हा प्रशासन एवं प्रबंधकीय एकेडमी भोपाल में प्रशिक्षणाधीन राज्य प्रशासनिक सेवा के प्रशिक्षु डिप्टी कलेक्टर्स को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर अकादमी के महानिदेशक श्री जे.एन. कंसोटिया भी मौजूद थे।

    राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार के ग़रीब कल्याण कार्यक्रमों को सफल बनाना लोक सेवकों की ज़िम्मेदारी है। सरकार की कल्याणकारी योजनाओं का लाभ सुनिश्चित कराना उनका मूल कर्तव्य है। अपने सेवाकाल में हमेशा बड़े-बुजुर्गों, दिव्यांगों और वंचितों के प्रति सम्मान और आदर का भाव रखें। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि राज्य की सेवा करने के लिए प्रशासनिक तंत्र का अंग बनने का अवसर मिलना सौभाग्य की बात है। प्रशिक्षु अधिकारी प्रशिक्षण से जुड़ी बातें, नियमों और अधिनियमों को बारीकी से सीखें। प्रदेश की सामाजिक, आर्थिक, भौगोलिक, चुनौतियों के अनुरूप समाधान का दृष्टिकोण अपनाए। उन्होंने प्रशासनिक अकादमी भोपाल द्वारा अधिकारियों को स्वच्छ और संवेदनशील लोक-सेवक बनाने के लिए गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण कार्यक्रमों के आयोजन की सराहना की। राज्यपाल श्री पटेल ने राज्य प्रशासनिक सेवा में चयन के लिए सभी प्रशिक्षणार्थियों को बधाई भी दी।

    जनजाति समुदाय के साथ संवेदनशील और सहानुभूतिपूर्ण व्यवहार रखें

    राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि मध्यप्रदेश जनजातीय बहुल राज्य है। प्रदेश के समग्र विकास के लिए जनजाति वर्ग का विकास बहुत जरूरी है। प्रशिक्षु अधिकारी जनजाति समुदाय के प्रति हमेशा सरल, संवेदनशील और सहानुभूतिपूर्ण व्यवहार रखें। उनके साथ आत्मीय, सीधा और जीवंत सम्पर्क बनाए। उन्हें विकास की मुख्यधारा में शामिल करने में अपना  योगदान दें।

    महानिदेशक नरोन्हा एकेडमी, भोपाल श्री जे.एन. कंसोटिया ने स्वागत उद्बोधन में राज्यपाल श्री पटेल को प्रशिक्षण कार्यक्रम की विस्तार से जानकारी दी।

    राज्यपाल श्री पटेल का संचालक प्रशासनिक अकादमी श्री मुजीबुर्रहमान खान ने स्मृति चिन्ह भेंट किया। प्रशिक्षु अधिकारी सुश्री प्रियंका भलावी और श्री आशुतोष महादेवसिंह ठाकुर ने प्रशिक्षण के अनुभवों को साझा किया। विधि भारद्वाज ने आभार माना। कार्यक्रम में राज्यपाल के अपर सचिव श्री उमाशंकर भार्गव, राजभवन के अधिकारी उपस्थित थे।

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  • CM Dr. Yadav: देश की प्रमुख नदियों का मायका है मध्यप्रदेश

    CM Dr. Yadav: देश की प्रमुख नदियों का मायका है मध्यप्रदेश

    CM Dr. Yadav: मध्यप्रदेश दो नदी जोड़ो परियोजनाओं को क्रियान्वित करने वाला देश पहला राज्य

    • जल संचय-जन भागीदारी-जन आंदोलन के उद्देश्य प्राप्ति के लिए म.प्र. कदम से कदम मिलाकर चलने को तत्पर
    • केंद्रीय जल शक्ति मंत्री श्री सी. आर. पाटिल ने जल संरक्षण और संवर्धन के लिए मध्यप्रदेश के प्रयासों को सराहा
    • मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने गुजरात के सूरत में “जल संचय- जन भागीदारी- जन आंदोलन” कार्यक्रम को किया संबोधित

    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि यह हमारा सौभाग्य है कि देश की प्रमुख नदियों का मध्यप्रदेश मायका है। मध्यप्रदेश की नर्मदा और ताप्ती नदी अपने मायके अर्थात मध्यप्रदेश को तो आनंदित और प्रफुल्लित करती ही है, साथ ही वह गुजरात को भी धन-धान्य से परिपूर्ण कर रही है। सोन नदी का उद्गम मध्यप्रदेश के अमरकंटक से है, जो बिहार में गंगा जी से मिलती हैं और गंगा जी की धारा को समृद्ध करती है। मध्यप्रदेश से निकलने वाली चंबल नदी राजस्थान को जीवन प्रदान करती है यह नदियां मध्यप्रदेश की जीवनदायिनी हैं। सूरत से आरंभ हुआ यह अभियान जीवन देने का अभियान है। उन्होंने कहा कि जल संचय- जन भागीदारी कार्यक्रम के उद्देश्य की प्राप्ति के लिए मध्यप्रदेश कदम से कदम मिलाकर चलने को तत्पर है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने राज्यों के परस्पर संबंधों की सौहाद्रता और नर्मदा जल की एक-एक बूंद का उपयोग सुनिश्चित करते हुए नर्मदा नदी का जल राजस्थान को भी उपलब्ध करने का मार्ग प्रशस्त किया है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि पानी के लिए गुजरात में समस्या रहती है और उनकी सहायता करना हम सब का कर्तव्य है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव राष्ट्रीय जल मिशन के अंतर्गत चल रहे “कैच द रेन “अभियान के तहत गुजरात के सूरत में “जल संचय- जन भागीदारी- जन आंदोलन” कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।

    जल संग्रहण के प्रतीक स्वरूप बड़े पात्र में जल अर्पित कर किया कार्यक्रम का शुभारंभ

    उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने वर्षा जल संचयन को बढ़ाने और दीर्घकालिक जल स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए जल संचय-जन भागीदारी-जन आंदोलन कार्यक्रम की पहल की थी। जल संरक्षण और जल संग्रहण को बढ़ावा देने की सकारात्मक पहल के तहत सूरत में आयोजित कार्यक्रम में केंद्रीय जल शक्ति मंत्री श्री सी. आर. पाटिल, गुजरात के मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र भाई पटेल, राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा, बिहार के उपमुख्यमंत्री श्री सम्राट चौधरी, वरिष्ठ जन-प्रतिनिधि, केंद्रीय जल शक्ति मंत्रालय तथा राज्यों के अधिकारी उपस्थित थे। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री डॉ. यादव का पुष्प-गुच्छ व अंगवस्त्रम भेंट कर तथा स्मृति-चिन्ह प्रदान कर स्वागत किया गया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव को “जल संचय -जन भागीदारी -जन आंदोलन कार्यक्रम” का संकल्प पत्र भी भेंट किया गया। कार्यक्रम में विद्यमान अतिथियों ने जल संरक्षण और जल संग्रहण के प्रतीक स्वरूप बड़े पात्र में जल अर्पित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया।

    भारतीय सनातन संस्कृति में जल ही जीवन है का विचार सर्वमान्य

    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने भारतीय सांस्कृतिक और पौराणिक संदर्भों का उल्लेख करते हुए कहा कि महादेव ने गंगा को जटाओं में धारण कर और भगवान श्रीकृष्ण ने गोवर्धन पर्वत धारण कर जल संरक्षण के महत्व को दर्शाया। जिस प्रकार धरती पर मां गंगा को लाने में भागीरथ की भूमिका थी, इस प्रकार गंगाजल को सहेजने में केंद्रीय मंत्री श्री सी. आर. पाटिल की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। गुजरात की भूमि यश- कीर्ति और समृद्धि की भूमि है। भगवान श्रीकृष्ण को भी गुजरात स्थित द्वारका से ही यश प्राप्त हुआ। गुजरात ने ही देश को महात्मा गांधी और सरदार वल्लभ भाई पटेल जैसे राजनेता प्रदान किये। इसी क्रम में प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में देश प्रगति पथ पर निरंतर अग्रसर है। विश्व में भारत की साख स्थापित हुई है और दुनिया के सभी देश प्रधानमंत्री श्री मोदी से मधुर और जीवंत संपर्क और संबंध बनाने के लिए आतुर रहते हैं। भारतीय सनातन संस्कृति में जल ही जीवन है का विचार सर्वमान्य है। सूरत में जल-संचयन और जल-संरक्षण पर आयोजित यह कार्यक्रम देश को नई दिशा और जन-जन को ऊर्जा प्रदान करेगा।

    मध्यप्रदेश में हुआ 10 हजार से अधिक पोखर, तालाब, कुएं, बावड़ी का जीर्णोद्धार

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में मध्यप्रदेश देश का पहला राज्य बना है, जहां नदी जोड़ो अभियान के अंतर्गत दो परियोजनाओं का क्रियान्वयन आरंभ हो रहा है। मध्यप्रदेश और उत्तर प्रदेश के बीच केन-बेतवा नदी जोड़ो अभियान तथा मध्यप्रदेश और राजस्थान के मध्य चंबल- पार्वती- काली सिंध लिंक परियोजनाएं शीघ्र ही मूर्त रूप लेंगी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश में लगभग 3 हजार 500 गांव के 13 हजार से अधिक लोगों ने संकल्प लेकर जल गंगा अभियान के अंतर्गत जल भंडारण क्षमता में वृद्धि के लिए 10 हजार से अधिक पोखर, तालाब, कुएं, बावड़ी का जीर्णोद्धार किया।

    मध्यप्रदेशवासियों द्वारा भूजल संचयन के लिए संकल्पबद्ध होना अभिनन्दनीय : केंद्रीय मंत्री श्री पाटिल

    केंद्रीय जल शक्ति मंत्री श्री सी. आर. पाटिल ने नदी जोड़ो अभियान में मध्यप्रदेश द्वारा प्रदान किए जा रहे सहयोग की सराहना की। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में नदियों के जोड़ने की परियोजना शीघ्र ही आरंभ होगी। उन्होंने मध्यप्रदेशवासियों द्वारा जल-संरक्षण के क्षेत्र में की जा रही पहल की भी सराहना करते हुए कहा कि भू-जल संचयन के लिए मध्यप्रदेश के 3500 गांवों में 14 हजार बोर कराने का संकल्प लिया गया है जो अभिनन्दनीय है। कार्यक्रम को गुजरात के मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र भाई पटेल, राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा, बिहार के उपमुख्यमंत्री श्री सम्राट चौधरी ने भी संबोधित किया।

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  • CM Dr. Yadav: प्रदेश को रोजगारपरक बनाने के साथ विकास के हर आयाम को तय कर रही है सरकार

    CM Dr. Yadav: प्रदेश को रोजगारपरक बनाने के साथ विकास के हर आयाम को तय कर रही है सरकार

    CM Dr. Yadav: सिंहस्थ के माध्यम से भारत दुनिया का करेगा नेतृत्व

    • उज्जैन में नये उद्योगों की स्थापना से 50 हजार लोगों को मिलेगा प्रत्यक्ष रोजगार
    • भौतिक सम्पदाओं का सदुपयोग कर प्रदेश को आर्थिक सम्पन्न बनायेंगे
    • मुख्यमंत्री डॉ.यादव ने दशहरा मिलन उत्सव में 658 करोड़ की 16 सड़क परियोजनाओं का भूमि-पूजन किया

    CM Dr. Yadav ने कहा है कि राज्य सरकार प्रदेश को रोजगारपरक प्रदेश बनाने के साथ ही विकास के हर आयाम को तय कर रही है। प्रदेश की भौतिक सम्पदाओं का सदुपयोग कर आर्थिक रूप से सम्पन्न मध्यप्रदेश बनायेंगे। उन्होंने कहा कि उज्जैन में 350 करोड़ रुपये की लागत से प्रतिभा स्वराज इकाई का आज शुभारम्भ किया गया है, जिससे 5 हजार से अधिक लोगों को रोजगार मिलेगा। उज्जैन के बेस्ट इंटरप्राइजेस और प्रतिभा स्वराज की इकाइयों से लगभग 10 हजार लोगों को रोजगार उपलब्ध होंगे। इसी प्रकार उज्जैन में अन्य औद्योगिक इकाई के माध्यम से 50 हजार बेरोजगार लोगों को प्रत्यक्ष रूप से रोजगार प्राप्त होगा। मुख्यमंत्री डॉ.यादव आज उज्जैन के कार्तिक मेला ग्राउण्ड में दशहरा मिलन उत्सव एवं 658 करोड़ की 16 सड़क परियोजनाओं के भूमि-पूजन कार्यक्रम को सम्बोधित कर रहे थे।

    कार्यक्रम में लोक निर्माण मंत्री श्री राकेश सिंह, उज्जैन के प्रभारी मंत्री श्री गौतम टेटवाल, सांसद श्री अनिल फिरोजिया, राज्यसभा सांसद बाल योगी, श्री उमेशनाथ जी महाराज, पूर्व केन्द्रीय मंत्री डॉ. सत्यनारायण जटिया, विधायक श्री अनिल जैन कालूहेड़ा, श्री सतीश मालवीय, श्री तेजबहादुर सिंह चौहान, श्री जितेन्द्र पंड्या, महापौर श्री मुकेश टटवाल, नगर निगम सभापति श्रीमती कलावती यादव, श्री बहादुर सिंह बोरमुंडला, श्री विवेक जोशी सहित जन-प्रतिनिधि एवं बड़ी संख्या में जन-समुदाय उपस्थित रहा।

    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि सनातन धर्म की सभी सन्यासी परम्पराओं के सभी वैष्णव और शैव संत 12 साल में सिंहस्थ में आते हैं और भविष्य में सनातन धर्म की दिशा, आचरण, स्वरूप तय करते है। मानवता की स्थापना के लिये सर्वोच्च सिंहस्थ मेला आयोजित किया जायेगा। सिंहस्थ के माध्यम से भारत दुनिया का नेतृत्व करेगा। इसकी समुचित तैयारियां की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार का संकल्प है कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में विकास के मामले में मध्यप्रदेश को देश का नम्बर वन राज्य बनायेंगे। इसके लिये अधोसंरचना विकास के कार्य तेजी से किए जा रहे हैं। प्रदेश को माइनिंग सेक्टर में भी दुनिया में नम्बर वन बनायेंगे।

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश हर सेक्टर में तेजी से तरक्की कर रहा है। प्रदेश में निवेशकों को लाने एवं निवेश बढ़ाने के लिये 16 अक्टूबर को हैदराबाद जाकर निवेशकों को आमंत्रित करेंगे। उज्जैन संभाग से प्रारम्भ हुई रीजनल इण्डस्ट्री कॉन्क्लेव की श्रंखला में अब 23 अक्टूबर को रीवा में कॉन्क्लेव होने वाली है। इसके बाद शहडोल, नर्मदापुरम संभाग में भी रीजनल इण्डस्ट्रीज कॉन्क्लेव आयोजित की जाएगी। आगामी वर्ष के फरवरी माह में प्रदेश में ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का आयोजन होगा, जिसमें विश्वभर से निवेशक आमंत्रित किये जायेंगे।

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री मोदी के नेतृत्व में भारत शक्ति-सम्पन्न एवं सामर्थ्यशाली देश बनने के साथ ही विकास के समुच्चय में सर्वोच्च स्थान भी हासिल कर रहा है। हमारी सनातन परम्परा में देवी-देवताओं और ऋषि-मुनियों ने शास्त्र एवं शस्त्र के साथ दुनिया का मार्ग प्रशस्त किया है। हमारा देश शान्तिपूर्ण देश है, पर जरूरत पड़ने पर शास्त्र के साथ ही शस्त्र उठाना भी बखूबी जानता है। थल सेना, वायु सेना एवं नौसेना को शक्ति सम्पन्न बनाते हुए सम्पूर्ण विश्व के मोर्चे पर आज प्रधानमंत्री श्री मोदी प्रभावशाली भूमिका अदा कर रहे हैं।

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सिंहस्थ-2028 के माध्यम से उज्जैन विश्व पटल पर धार्मिक पर्यटन के प्रमुख केन्द्र के रूप में पहचाना जायेगा। आगामी सिंहस्थ को दृष्टिगत रखते हुए उज्जैन के श्री महाकालेश्वर मन्दिर की पहुंच को और अधिक सुगम बनाने के लिये सदावल में हेलीपेड का निर्माण भी किया जायेगा। इसी प्रकार सोमवारिया से लेकर सिंहस्थ बायपास तक नया फोरलेन बनाया जायेगा, जिसकी टेण्डर प्रक्रिया प्रारम्भ है। केडी गेट से लेकर बीमा हॉस्पिटल के आगे तक फोरलेन निर्माण की भी मंजूरी दी गई है। उज्जैन-इन्दौर सिक्सलेन का कार्य प्रारम्भ हो गया है। तपोभूमि से हामूखेड़ी मार्ग का भी आज भूमि-पूजन किया गया है। उन्होंने कहा कि उज्जैन को जोड़ने वाले चारों तरफ के मार्गों को फोरलेन किया जायेगा, जिससे जिले के ग्रामीण क्षेत्र मुख्य मार्गों से जुड़ेंगे।

    विकास की राह पर तेजी से आगे बढ़ रहा है मध्यप्रदेश : लोक निर्माण मंत्री श्री सिंह

    लोक निर्माण मंत्री श्री राकेश सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री डॉ. यादव के मार्गदर्शन में लोक निर्माण विभाग “लोक निर्माण से लोक कल्याण’’ के ध्येय वाक्य के साथ विकास की राह पर तेजी से आगे बढ़ रहा हैं। विकास कार्यों से उज्जैन बेहतर सड़कों के साथ सामाजिक और आर्थिक ऊंचाइयों पर भी पहुंचेगा। विकास का मोहन मॉडल’ प्रदेश की उन्नति के साथ जन-कल्याण के मार्ग भी खोल रहा हैं। प्रदेश में विकास और जन-कल्याण के क्षेत्र में क्रांतिकारी परिवर्तन दिखाई दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि उज्जैन धार्मिक नगरी के साथ अंतरराष्ट्रीय पर्यटन केंद्र के रूप में भी स्थापित होगा। उन्होंने बताया कि लोक निर्माण विभाग द्वारा लोकपथ एप का संचालन किया जा रहा है, जिसमें अब सड़कों के क्षतिग्रस्त होने संबंधी प्राप्त शिकायतों का 7 दिन के अंदर संबंधित क्षेत्र के विभागीय अधिकारी द्वारा निराकरण किया जाएगा। मुझे बताते हुए खुशी है कि 3 से 4 महीने के अंदर अभी तक प्राप्त शिकायतों में से 95% से अधिक का निराकरण किया जा चुका है।

    कार्यक्रम में विधायक श्री अनिल जैन कालूहेड़ा ने कहा कि मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा उज्जैन को 658 करोड़ से अधिक की राशि की सौगातें आज दी गई है, जो उज्जैन के विकास में मील का पत्थर साबित होंगी।

    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा लोक निर्माण से लोक कल्याण के उद्देश्य से 658 करोड़ के विकास एवं निर्माण कार्यों का भूमि पूजन

    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कार्तिक मेला ग्राउंड उज्जैन में रविवार को आयोजित कार्यक्रम में लोक निर्माण से लोक कल्याण के उद्देश्य  से उज्जैन में 658 करोड़ से अधिक के विकास एवं निर्माण कार्यों का भूमि-पूजन किया। इनमें प्रमुख रूप से 225.96 करोड़ की लागत से हरीफाटक-लालपुल-मुल्लापूरा फोरलेन मार्ग शंकराचार्य चौराहा से चंदूखेड़ी, 2 नग 2 लेन आरओबी और शिप्रा पर 2 लेन ब्रिज सहित फोरलेन मार्ग, 67.69 करोड़ की लागत से उज्जैन बड़नगर बाईपास टू-लेन मार्ग निर्माण कार्य (एनएच 148 का छूटा हुआ भाग), 22.61 करोड़ की लागत से बडावदा कलसी नागदा से दोत्रु मार्ग का निर्माण, 31.88 करोड़ की लागत से नागदा गिद्धगढ़ विदखेड़ा मोकड़ी मार्ग, 35.65 करोड़ की लागत से तपोभूमि से हामूखेड़ी मार्ग, 32.6 करोड़ के लागत से रालामंडल कांकरिया चिराखान लेकोडा़ झिरोलिया बारोदा हमीरखेड़ी उमरिया मार्ग, 30.45 करोड़ की लागत से लालपुर से चिंतामन गणेश मंदिर, 38.57 करोड़ की लागत से बड़ापुल रणजीत हनुमान मोजमखेड़ी मार्ग, 64.99 करोड़ की लागत से वाकंणकर पुल से दाऊद खेड़ी, 78.36 करोड़ की लागत से करोहन नाईखेड़ी पंचक्रोशी मार्ग, 2.55 करोड़ की लागत से खाचरोद बड़नगर बायपास, सेदरी से बड़ावदा, मुरानाबाद से बेड़ावन्या, रतलाम खाचरोद का शेष भाग का मजबूतीकरण, 13.46 करोड़ की लागत से सदावाल हेलीपैड निर्माण, 2.66 करोड़ की लागत से जहांगीरपुर से चामुंडामाता मार्ग, 2.91 करोड़ की लागत से रूदाहेड़ा से गुनई-महिदपुर से काचरिया एवं महिदपुर से नागेश्वर तीर्थ, 3.64 करोड़ की लागत से सुतारखेड़ा एप्रोच रोड-मीन रोड से सुतारखेड़ा एवं रूदाहेड़ा एप्रोच रोड और 3.11 करोड़ की लागत वाले मक्सी-तराना-रूपाखेड़ी एवं कानीपुरा-तराना मार्ग, मास्टर माईड स्कूल तराना से लिम्बादित मेन रोड का भूमि-पूजन शामिल है।

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने दीप प्रज्वलित कर दशहरा मिलन उत्सव कार्यक्रम का शुभारम्भ किया और अतिथियों के साथ कन्याओं का पूजन किया। उन्होंने पुष्पवर्षा कर उपस्थित जन-समुदाय का स्वागत-अभिनन्दन किया।

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  • CM Dr. Yadav: चंबल की पवित्र भूमि में बहायेंगे विकास की गंगा

    CM Dr. Yadav: चंबल की पवित्र भूमि में बहायेंगे विकास की गंगा

     CM Dr. Yadav: 35 करोड़ के सीएम राइज़ स्कूल का किया भूमि-पूजन

    • सुरजनपुर में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र का किया उद्घाटन
    • स्व. अमर सिंह डण्डोतिया की समाधि पर पुष्प अर्पित किये

     CM Dr. Yadav ने कहा है कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में प्रदेश के चहुँमुखी विकास के लिये हरसंभव कार्य किये जा रहे हैं। चंबल की पवित्र भूमि में विकास की गंगा बहेगी। चंबल का कोई भी क्षेत्र विकास के किसी भी पहलू में पीछे नहीं रहेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव मुरैना के सुरजनपुर में विकास कार्यों के लोकार्पण और भूमि-पूजन समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने यहाँ 35 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले सीएम राइज़ स्कूल का भूमि-पूजन और लगभग डेढ़ करोड़ रुपये की लागत के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र का लोकार्पण भी किया। उन्होंने कहा कि दिमनी में 2 करोड़ रुपये की लागत से सामुदायिक भवन बनाया जायेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने सुरजनपुर में स्व. अमर सिंह डण्डोतिया की समाधि पर पुष्प अर्पित किये।

    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष और क्षेत्रीय सांसद ने इस क्षेत्र के लिये जो मांगे रखी है, उन सभी मांगो को पूर्ण करने की घोषणा की जाती है। दिमनी में 2 करोड़ की लागत से सामुदायिक भवन, क्वारी नदी को रोककर कमतरी बिरहरूआ-गोपी कंचनपुर के मध्य बांध निर्माण कार्य, बड़ेगांव से महेबा का पुरा होकर अजनौधा बाया सिरमिती डोंगरपुर मार्ग, दोहाटी, बरगमां, कटेलापुरा पी.डब्ल्यू.डी. मार्ग पर क्वारी नदी पर पुल निर्माण कार्य, ग्राम चैटा बरैथा में 33/11 के.वी. सब स्टेशन निर्माण कार्य, ग्राम नयापुरा खिरेंटा में 33/11 के.वी. सब स्टेशन निर्माण कार्य, ग्राम लहर में 33/11 के.वी. सब स्टेशन निर्माण कार्य की घोषणा की है।

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री के नेतृत्व में नई शिक्षा नीति-2020 तय की गई थी, जिसमें भगवान श्रीराम, श्रीकृष्ण और महापुरूषों की जीवनी शामिल की गई है। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति को प्रदेश में प्रभावी रूप से लागू किया गया है। मुरैना का यह क्षेत्र मथुरा के नजदीक है। इस क्षेत्र में भगवान श्रीकृष्ण की कृपा बनी रहे। मुरैना से मथुरा ज्यादा दूर नही है, जल्दी ही यहाँ नया सिक्स लेन रोड बनना शुरू हो जायेगा।

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सुरजनपुर के साथ दिमनी की भूमि को पवित्र भूमि बनाना है। यह कर्मशील लोगों की भूमि है। दिमनी विधानसभा के वर्तमान विधायक एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री वर्तमान में विधानसभा अध्यक्ष और हमारी पार्टी के दो बार प्रदेश अध्यक्ष रहे श्री नरेंद्र सिंह तोमर की कर्मभूमि है। साथ ही हमारे वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद श्री वी.डी. शर्मा की जन्मभूमि है। यहां आकर हमको ऐसा लगा कि इस भूमि में अलग ही बात है। यहां की मिट्टी की खुशबू में भी एक अलग ही प्रकार की ऊर्जा महसूस हो रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं स्वर्गीय अमर सिंह डंडोतिया जी को भी नमन करता हूं। उन्होंने अपने सपूत को पूर्णकालिक रूप से देश की सेवा के रूप में सौंप दिया है। दिमनी की भूमि एक की कर्म-भूमि है और एक की जन्म-भूमि है। इस भूमि पर आकर जब मैं श्री बीडी शर्मा के घर गया तो उनकी माताजी से मिल कर मुझे अपनी मां की याद आ गई। मैं यहाँ आकर अपने आप को गौरांवित महसूस कर रहा हूं।

    विधानसभा अध्यक्ष श्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने कहा कि ग्राम सुरजनपुर में सीएम राइज स्कूल और प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र खुलने से इस क्षेत्र की जनता को सीधा लाभ मिलेगा और बच्चों को उच्च स्तर की शिक्षा ग्रहण करने का मौका मिलेगा। उन्होंने कहा कि विकास कार्यो में प्रदेश सरकार ने कोई कमी नहीं छोड़ी है। विकास कार्य किसी से छिपे नहीं है।

    उप मुख्यमंत्री श्री राजेन्द्र शुक्ल, प्रभारी मंत्री श्री करण सिंह वर्मा, खजुराहो सांसद श्री वी.डी. शर्मा, स्कूल शिक्षा मंत्री श्री उदय प्रताप सिंह और सांसद श्री शिवमंगल सिंह तोमर ने भी संबोधित किया। इस अवसर पर श्री हितानंद, विधायक, जन-प्रतिनिधि, अधिकारी एवं बड़ी संख्या में ग्रामीणजन उपस्थित थे।

    source: http://www.mpinfo.org

  • CM Dr. Yadav के मुख्य आतिथ्य में वन समितियों का सम्मेलन 9 अक्टूबर को

    CM Dr. Yadav के मुख्य आतिथ्य में वन समितियों का सम्मेलन 9 अक्टूबर को

    CM Dr. Yadav: 57 करोड़ 42 लाख के विकास कार्यों का लोकार्पण एवं भूमि-पूजन करेंगे

    CM Dr. Yadav के मुख्य आतिथ्य में श्योपुर जिले की तहसील वीरपुर मुख्यालय स्थित कृषि उपज मण्डी परिसर में संयुक्त वन प्रबंधन समितियों का जागरूकता सम्मेलन होगा। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव 18 करोड़ 94 लाख रुपये के विकास कार्यों का लोकार्पण एवं 38 करोड़ 48 लाख रुपये के विकास कार्यों का भूमि-पूजन करेंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव द्वारा वन समिति के सदस्यों के बच्चों को स्कूल बैग का वितरण भी किया जायेगा।

    कार्यक्रम में अध्यक्ष विधानसभा श्री नरेन्द्र सिंह तोमर, वन एवं पर्यावरण मंत्री श्री रामनिवास रावत, नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा मंत्री एवं जिले के प्रभारी मंत्री श्री राकेश शुक्ला, किसान कल्याण एवं कृषि विकास मंत्री श्री ऐदल सिंह कंषाना, खजुराहो सांसद श्री विष्णु दत्त शर्मा, मुरैना-श्योपुर संसदीय क्षेत्र के सांसद श्री शिवमंगल सिंह तोमर, उपाध्यक्ष सहरिया अभिकरण राज्य मंत्री दर्जा श्री सीताराम आदिवासी और आम नागरिक उपस्थित रहेंगे।

    इन विकास कार्यों का होगा लोकार्पण

    शासकीय महाविद्यालय ढोढर लागत 4 करोड़ 34 लाख, एसडीएम कार्यालय कराहल लागत एक करोड़ 31 लाख, जनजातीय कार्य विभाग के अंतर्गत उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सेसईपुरा में 10 अतिरिक्त कक्ष निर्माण कार्य लागत 3 करोड़ 78 लाख, तहसील वीरपुर में नल-जल योजना लागत 5 करोड़ 39 लाख, ग्राम बड़गाँव नल-जल योजना लागत एक करोड़ 82 लाख, ग्राम आसीदा नल-जल योजना लागत एक करोड़ 30 लाख और ग्राम कुडायथा नल-जल योजना लागत एक करोड़ 30 लाख के विकास कार्य शामिल हैं।

    विकास कार्यों का होगा भूमि-पूजन

    पीएम जन-मन योजना में श्योपुर विकासखण्ड के 6 ग्रामों में मल्टीपर्पस सेंटर निर्माण लागत 3 करोड़ 60 लाख, विजयपुर एवं कराहल विकासखण्ड क्षेत्र के 18 ग्रामों में मल्टीपर्पस सेंटर का निर्माण कार्य लागत 10 करोड़ 80 लाख और तहसील विजयपुर में 30 बिस्तरीय सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र को 100 बिस्तरीय सिविल अस्पताल में उन्नयन निर्माण कार्य लागत 24 करोड़ 8 लाख रुपये के कार्य शामिल हैं।

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