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  • CM Yogi Adityanath सरकार ने 14 लाख गर्भवती महिलाओं को निजी स्वास्थ्य केंद्रों पर मुफ्त अल्ट्रासाउंड दिया

    CM Yogi Adityanath सरकार ने 14 लाख गर्भवती महिलाओं को निजी स्वास्थ्य केंद्रों पर मुफ्त अल्ट्रासाउंड दिया

    CM Yogi Adityanath लगातार महत्वपूर्ण कदम उठा रहे हैं।

    प्रदेशवासियों को गुणवत्तापूर्ण, सुगम और सस्ता इलाज देने के लिए CM Yogi Adityanath लगातार महत्वपूर्ण कदम उठा रहे हैं। यही कारण है कि राज्य के स्वास्थ्य इंफ्रास्ट्रक्चर में पिछले साढ़े सात साल में महत्वपूर्ण बदलाव हुआ है, जिसने कभी बीमार प्रदेश माना जाता था, आज उत्तम प्रदेश बन गया है। योगी सरकार के तहत गर्भवती महिलाओं को निजी अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर मुफ्त अल्ट्रासाउंड मिलता है। सुविधा से अब तक छह लाख से अधिक गर्भवती महिलाएं लाभान्वित हो चुकी हैं। इतना ही नहीं, योगी सरकार ने प्रदेश के किसी भी जिले के इम्पैनल्ड निजी अल्ट्रासाउंड केंद्र पर गर्भवती महिलाओं को फ्री अल्ट्रासाउंड की सुविधा दी है, ताकि वे इस सुविधा का लाभ उठाने के लिए बाहर नहीं जाना पड़े।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जच्चा-बच्चा के स्वास्थ्य पर काफी गंभीर हैं, जैसा कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) की निदेशक डॉ. पिंकी जोवल ने बताया, *प्रदेश में 1,861 निजी अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर फ्री अल्ट्रासाउंड सुविधा ऐसे में, उन्हें गुणवत्तापूर्ण इलाज के साथ-साथ पुष्टाहार भी मिल रहा है। उनका कहना था कि प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ की मंशा के अनुरूप, फरवरी 2023 से प्रदेश की गर्भवती महिलाओं को पीपीपी मोड पर फ्री अल्ट्रासाउंड के लिए ई रुपी वाउचर मिलेगा। प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत निजी अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर इस सुविधा की पेशकश की जा रही है। मिशन निदेशक ने कहा कि सुविधा का लाभ उठाने के लिए राज्य के 75 जिलों में 1,861 निजी अल्ट्रासाउंड केंद्रों को अधिग्रहण किया गया है।

    अब तक, सरकार ने गर्भवती महिलाओं को 14,50,238 ई-वाउचर भेजे हैं। साथ ही, गर्भवती महिलाओं ने 6,81,341 ई-रुपी वाउचर का लाभ उठाया है। गर्भवती महिलाओं को एक महीने तक चलने वाली ई-रुपी वाउचर का लाभ मिल सकता है। इसके बाद यह स्वचालित रूप से कैंसिल होता है। वहीं, गर्भवती महिला को समय सीमा में लाभ न मिलने पर ई-रुपी वाउचर दोबारा मिल सकता है।

    हर महीने 1,9,16 और 24 तारीख को जारी किये जा रहे अल्ट्रासाउंड के ई-रुपी वाउचर* मिशन निदेशक डॉ. पिंकी जोवल ने बताया कि सीएम योगी के निर्देश पर गर्भवती महिलाओं को जिला महिला चिकित्सालय, संयुक्त चिकित्सालय, सीएचसी के साथ पीएचसी पर हर महीने 4 पीएमएसएमए दिवसों (1, 9, 16 और 24 तारीख) को ई-रुपी वाउचर मिलेंगे। उन्होंने कहा कि उच्च स्तरीय बैठक में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सुविधा का अधिकतम लाभ उठाने के लिए प्रचार और अभियान चलाने का आदेश दिया है। ऐसे में, सीएम योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर आशा कार्यकर्ता घर-घर जाकर सुविधाओं की जानकारी दे रहे हैं।

  • CM Yogi Adityanath ने दो दिवसीय आकांक्षा हाट का शुभारम्भ किया

    CM Yogi Adityanath ने दो दिवसीय आकांक्षा हाट का शुभारम्भ किया

     CM Yogi Adityanath: आकांक्षा हाट प्रदेश के विभिन्न जनपदों की महिला उद्यमियों और स्वयं सहायता समूहों द्वारा हस्तनिर्मित उत्पादों को प्रोत्साहित करने, महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने तथा उनकी प्रतिभा और योगदान को सम्मानित करने का एक सामूहिक प्रयास

    • आकांक्षा समिति ने महिला स्वयं सहायता समूहों के साथ अनेक रचनात्मक कार्यक्रमों को आगे बढ़ाने का कार्य किया, इनमें आकांक्षा दीदी की शुरुआत एक प्रशंसनीय कदम
    • मुख्यमंत्री ने उ0प्र0 की पहली डबल डेकर ई0वी0 बस को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया
    • डबल डेकर ई0वी0 बस में महिला यात्रियों को टिकट में 50 प्रतिशत की छूट और शनिवार को महिलाओं के लिए हैरिटेज टूर हेतु टिकट की व्यवस्था निःशुल्क रहेगी
    • महिला स्वयं सहायता समूहों को प्रोडक्ट की क्वालिटी, ब्राण्डिंग, पैकेजिंग, डिजाइनिंग, मार्केटिंग व एक्सपोर्ट में आकांक्षा समिति का मार्गदर्शन प्राप्त हो
    • आकांक्षा समिति द्वारा प्रोडक्ट्स को तकनीक से जोड़ने, अन्य राज्यों के साथ एम0ओ0यू0 करने की नई शुरुआत की गयी, कार्यक्रम में 04 एम0ओ0यू0 हुए
    • हर जनपद की आकांक्षा समिति हर विकास खण्ड व नगर निकायों में एक-एक महिला स्वयं सहायता समूह को लेकर कार्य करे, तो एक साथ अनेक समूह कार्य करते दिखायी देंगे
    • बलिनी मिल्क प्रोड्यूसर ग्रामीण महिला स्वयं सहायता समूह का बेहतरीन उदाहरण, इसी प्रकार के समूह प्रदेश के अन्य जनपदों में बनें, इसके लिए राज्य सरकार ने 05 नये क्षेत्रों को धनराशि उपलब्ध करायी
    • मुख्यमंत्री ने महिलाओं को ‘आकांक्षा दीदी परिश्रम सम्मान’,‘आकांक्षा महिला उद्यमी सम्मान’,‘आकांक्षा विशिष्ट युवा प्रतिभा सम्मान’ से सम्मानित किया

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि आकांक्षा हाट, प्रदेश के विभिन्न जनपदों की महिला उद्यमियों और स्वयं सहायता समूहों द्वारा हस्तनिर्मित उत्पादों को प्रोत्साहित करने, महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने तथा उनकी प्रतिभा और योगदान को सम्मानित करने का एक सामूहिक प्रयास है।

    मुख्यमंत्री जी आज यहां आकांक्षा हाट के शुभारम्भ कार्यक्रम के अवसर पर अपनेविचार व्यक्त कर रहे थे। इससे पूर्व, मुख्यमंत्री जी ने दो दिवसीय आकांक्षा हाट का शुभारम्भ किया और उत्तर प्रदेश की पहली डबल डेकर ई0वी0 बस को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया। इस वातानुकूलित नगर बस सेवा की प्रथम यात्रा आकांक्षा दीदियों और छात्राओं ने की।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आकांक्षा समिति के तत्वावधान में उत्तर प्रदेश की पहली डबल डेकर ई0वी0 बस का आज शुभारम्भ हुआ है। उन्होंने घोषणा की कि डबल डेकर ई0वी0 बस में महिला यात्रियों को टिकट में 50 प्रतिशत की छूट और शनिवार को महिलाओं के लिए हैरिटेज टूर हेतु टिकट की व्यवस्था निःशुल्क रहेगी। प्रदेश सरकार के प्रयासों से उत्तर प्रदेश में पब्लिक ट्रांसपोर्ट निरन्तर मजबूत हो रहा है। हिन्दुजा ग्रुप लखनऊ में इलेक्ट्रिक व्हिकल का एक प्लाण्ट स्थापित कर रहा है, जो बहुत शीघ्र प्रोडक्शन का कार्य प्रारम्भ कर देगा। इस प्लाण्ट के क्रियाशील होने से लोगों को रोजगार मिलेगा, ट्रांसपोर्ट की सुविधा में वृद्धि होगी तथा पर्यावरण को बचाने में भी मदद मिलेगी।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आकांक्षा समिति की स्थापना वर्ष 1987 में की गयी थी। यह समिति विशेष रूप से ग्रामीण और वंचित समुदायों की महिलाओं और बालिकाओं के सशक्तिकरण के लिए प्रतिबद्ध है। आकांक्षा समिति ने महिला स्वयं सहायता समूहों के साथ अनेक रचनात्मक कार्यक्रमों को आगे बढ़ाने का कार्य किया है। इनमें आकांक्षा दीदी की शुरुआत एक प्रशंसनीय कदम है।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि ग्रामीण महिला स्वयं सहायता समूह महिला स्वावलम्बन का एक बेहतरीन उदाहरण प्रस्तुत कर रहे हैं। बलिनी मिल्क प्रोड्यूसर ग्रामीण महिला स्वयं सहायता समूह का बेहतरीन उदाहरण है। श्रीमती रचना पाल व उनकी सहयोगियों द्वारा बलिनी मिल्क प्रोड्यूसर को सफलतापूर्वक संचालित किया जा रहा है। 05 महिलाओं से शुरू हुए इस समूह से वर्तमान में 71 हजार महिलाएं जुड़ी हुई हैं। इस समूह से जुड़ी महिलाएं प्रतिमाह 08 से 10 हजार रुपये की आय अर्जित कर रही हैं। समूह का सैकड़ों करोड़ रुपये का टर्नओवर है। इस समूह की महिलाएं सामान्य ग्रामीण पृष्ठभूमि से जुड़ी हुई हैं, जो बहुत अच्छा कार्य कर रही हैं। इसी प्रकार के समूह प्रदेश के अन्य जनपदों में भी बन सकते हैं। इसके लिए राज्य सरकार ने 05 नये क्षेत्रों को धनराशि उपलब्ध करायी है। लोग इनसे जुड़कर अपने कार्याें को आगे बढ़ा सकते हैं।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उत्तर प्रदेश में प्रोडक्ट की क्वालिटी, ब्राण्डिंग, पैकेजिंग, डिजाइनिंग, मार्केटिंग व एक्सपोर्ट को लेकर कुछ नया काम हो सकता है। आकांक्षा समिति का मार्गदर्शन महिला स्वयं सहायता समूहों को जनपदों में भी प्राप्त हो, तो बहुत अच्छा कार्य हो सकता है। महिला स्वयं सहायता समूहों के प्रोडक्ट या ओ0डी0ओ0पी0 काफी बड़े पैमाने पर प्रदेश में नये महिला स्वयं सहायता समूहों को रोजगार के सृजन और स्वावलम्बन की ओर अग्रसर करने में सहायक हो सकते हैं। इन प्रोडक्ट्स को तकनीक से जोड़ने या अन्य राज्यों के साथ एम0ओ0यू0 के माध्यम से हम इस कार्यक्रम को और अच्छा बना सकते हैं। इस दिशा में आकांक्षा समिति द्वारा नई शुरुआत की गयी है।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश सरकार ने गत वर्ष यू0पी0 इण्टरनेशनल टेªड शो ग्रेटर नोएडा में आयोजित किया। टेªड शो में लाखों लोगों ने हर जनपद के प्रोडक्ट को देखा। इस वर्ष इस टेªड शो में 05 लाख से अधिक लोग आए। अब लोग उत्तर प्रदेश में आना चाहते हैं और उत्तर प्रदेश से जुड़ना चाहते हैं। आकांक्षा समिति इन लोगों को जोड़ने का माध्यम बन सकती है। आकांक्षा समिति का रचनात्मक अभियान निरन्तर आगे बढ़ना चाहिए।

    मुख्यमंत्री जी ने आकांक्षा समिति को समाज की रचनात्मक भावनाओं को प्रभावी ढंग से आगे बढ़ाने के लिए डॉ0 रश्मि सिंह व उनकी पूरी टीम को बधाई दी। उन्होंने कहा कि यदि हर जनपद में वहां की आकांक्षा समिति हर विकास खण्ड व नगर निकायों में एक-एक महिला स्वयं सहायता समूह को लेकर कार्य करे, तो एक साथ अनेक समूह कार्य करते दिखायी देंगे। इससे आधी आबादी का विश्वास आकांक्षा समिति के साथ जुड़ेगा और वह विश्वास आकांक्षा समिति व समिति के रचनात्मक कार्यों के प्रति आम जनमानस का समर्थन और आशीर्वाद होगा। आकांक्षा समिति लखनऊ तक सीमित न रहे, बल्कि प्रदेश के सभी जनपदों में कार्य करे।

    मुख्यमंत्री जी ने कार्यक्रम में आकांक्षा मसाला मठरी केन्द्र के सफल संचालन में योगदान के लिए 03 महिलाओं (सुश्री लक्ष्मी, सुश्री कौशल्या व सुश्री अलीमा) को ‘आकांक्षा दीदी परिश्रम सम्मान’ से सम्मानित किया। उन्होंने 05 महिला उद्यमियों को ‘आकांक्षा महिला उद्यमी सम्मान’ से सम्मानित किया। इनमें सुश्री रंजना पाल (समूह सखी बलिनी डेयरी), सुश्री ममता सिंह (ड्रोन सखी), सुश्री उर्वशी (बी0सी0 सखी), सुश्री राजश्री शुक्ला (विद्युत सखी) और सुश्री गुंजन देवी (महिला स्वयं सहायता समूह-बेकरी इकाई) शामिल हैं। मुख्यमंत्री जी ने ‘आकांक्षा विशिष्ट युवा प्रतिभा सम्मान’ के अन्तर्गत अर्जुन पुरस्कार से सम्मानित उत्तर प्रदेश की कुश्ती खिलाड़ी सुश्री दिव्या काकरान और गायिका सुश्री मैथिली ठाकुर को सम्मानित किया। इसके अलावा, उन्होंने ’आकांक्षा आरोग्य परियोजना‘ के अन्तर्गत एक महिला को वित्तीय सहायता का चेक भी प्रदान किया।

    कार्यक्रम में मुख्यमंत्री जी के समक्ष आकांक्षा समिति द्वारा शुरू की जाने वाली नई परियोजनाओं और साझेदारियों के अन्तर्गत 04 एम0ओ0यू0 का आदान-प्रदान किया गया। इनमें उत्तर प्रदेश राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन तथा आकांक्षा समिति के मध्य एम0ओ0यू0 किया गया। इसके अन्तर्गत विभिन्न जनपदों के स्वयं सहायता समूहों के उत्पादों की प्रोसेसिंग, पैकेजिंग, क्वालिटी एश्योरेंस, बिक्री तथा ब्राण्डिंग के लिए सहयोग किया जाएगा। राज्य शहरी आजीविका मिशन जम्मू और कश्मीर, उत्तर प्रदेश हैण्डीक्राफ्ट्स डेवलपमेन्ट एण्ड मार्केटिंग कॉरपोरेशन तथा एम0एस0एम0ई0 और निर्यात प्रोत्साहन विभाग, उत्तर प्रदेश के मध्य एम0ओ0यू0 किया गया। इसका उद्देश्य दोनों राज्यों के स्वयं सहायता समूहों के उत्पादों व हस्तशिल्प के प्रोत्साहन हेतु मार्केट लिंकेज का कार्य है।

    तीसरा एम0ओ0यू0 साउथ एशियन विमेन इन टेक (साविट) तथा आकांक्षा समिति के मध्य किया गया। इस एम0ओ0यू0 का उद्देश्य लाभार्थियों को ए0आई0 तकनीक तथा डिजिटल स्किल का प्रशिक्षण प्रदान करना है। ट्रेनिंग में उच्च शिक्षण संस्थानों की छात्राओं को वरीयता दी जाएगी। आकांक्षा समिति प्रशिक्षणार्थियों के चयन के साथ-साथ सामुदायिक सहयोग तथा लॉजिस्टिकल सपोर्ट भी प्रदान करेगी।

    चौथा एम0ओ0यू0 आर्ट ऑफ लिविंग एवं आकांक्षा समिति के मध्य सम्पन्न हुआ। mइसके अन्तर्गत महिला सशक्तीकरण, टिकाऊ कृषि, जल संरक्षण, मानसिक स्वास्थ्य और कौशल विकास के कार्य किये जाएंगे।

    उप मुख्यमंत्री श्री ब्रजेश पाठक व आकांक्षा समिति की अध्यक्ष डॉ0 रश्मि सिंह ने भी कार्यक्रम को सम्बोधित किया।

    इस अवसर पर उत्तर प्रदेश राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष श्रीमती बबीता चौहान, कृषि उत्पादन आयुक्त श्रीमती मोनिका एस0 गर्ग, प्रमुख सचिव नगर विकास श्री अमृत अभिजात, आकांक्षा समिति की सचिव श्रीमती प्रियंका प्रियदर्शी, आकांक्षा समिति की पदाधिकारी सहित विभिन्न जनपदों के महिला स्वयं सहायता समूहों की सदस्यगण उपस्थित थीं।

    source: http://up.gov.in

  • CM Yogi Adityanath ने ‘गोमती पुस्तक महोत्सव’ के तृतीय संस्करण का उद्घाटन किया

    CM Yogi Adityanath ने ‘गोमती पुस्तक महोत्सव’ के तृतीय संस्करण का उद्घाटन किया

    CM Yogi Adityanath: देश को आगे बढ़ाने के लिए हम सबको अच्छी कृतियों के प्रति आग्रही बनना पड़ेगा

    • प्रधानमंत्री जी ने कहा कि ‘व्हेन सिटीजंस रीड द कंट्री लीड्स’ अर्थात् जब लोग पढ़ते, तो देश आगे बढ़ता
    • पाठ्यक्रम की पुस्तकों के साथ-साथ बच्चों को ऐसी पुस्तकें दें, जो उनके मन में नए भाव को जागृत कर सकें
    • डिजिटल युग में सभी लोग स्मार्टफोन जैसी युक्तियों के पराधीन, पहले तकनीक का उपयोग मनुष्य करता था, अब तकनीक मनुष्य का उपयोग कर रही
    • भारत की परम्परा प्राचीन काल से ही ज्ञान के प्रति आग्रही रही
    • वैदिक संस्कृत को व्यावहारिक संस्कृत का स्वरूप प्रदान करने वाले महर्षि वाल्मीकि ने उ0प्र0 की धरती पर जन्म लिया
    • गोस्वामी तुलसीदास ने श्रीरामचरितमानस की रचना अवधी भाषा में की
    • कालजयी रचनाओं को आगे बढ़ाने के लिए लेखकों को प्रोत्साहित करने के साथ-साथ आम जनमानस को भी जागरूक करना होगा
    • हम सभी उस महान परम्परा के उत्तराधिकारी, जहां युद्ध भूमि में श्रीमद्भगवद्गीता के रूप में सर्वश्रेष्ठ ग्रंथ की रचना की जाती
    • नैमिषारण्य में भारत की वैदिक ज्ञान की परम्परा को हजारों ऋषि मुनियों ने लिपिबद्ध किया था
    • जो भी व्यक्ति पुस्तक महोत्सव में आए अपनी रूचि के अनुसार किसी न किसी पुस्तक का क्रय अवश्य करे
    • जिला प्रशासन प्रयास करे कि इस पुस्तक महोत्सव में अगले 09 दिनों तक लखनऊ की प्रत्येक संस्था की उपस्थिति हो
    • यदि युवा डिजिटल दुनिया के साथ-साथ कुछ समय रोचक पुस्तकों को पढ़ने तथा रचनात्मक कार्यों में व्यतीत करेंगे, तो उन्हें इसका लाभ प्राप्त होगा
    • गोमती केवल नदी नहीं, बल्कि एक संस्कृति भी, देश में नदियां संस्कृति के रूप में मान्य रहीं

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा है कि हमारा प्रयास होना चाहिए कि पाठ्यक्रम की पुस्तकों के साथ-साथ बच्चों को ऐसी पुस्तकें दें, जो उनके मन में नए भाव को जागृत कर सकें। छात्र-छात्राओं को पुस्तकों का अध्ययन तथा मनन कर अच्छी बातों को अपने जीवन में उतारने का कार्य करना चाहिए। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने कहा था कि ‘व्हेन सिटीजंस रीड द कंट्री लीड्स’ अर्थात् जब लोग पढ़ते हैं, तो देश आगे बढ़ता है। देश को आगे बढ़ाने के लिए हम सबको अच्छी कृतियों के प्रति आग्रही बनना पड़ेगा।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी आज गोमती रिवर फ्रंट पर ‘गोमती पुस्तक महोत्सव’ के तृतीय संस्करण का उद्घाटन करने के पश्चात अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। इसके पूर्व उन्होंने पुस्तकों के स्टॉलों का अवलोकन किया तथा बच्चों से संवाद कर उन्हें पुस्तकें व चॉकलेट भेंट कीं। उन्होंने कहा कि आज के डिजिटल युग में सभी लोग स्मार्टफोन जैसी युक्तियों के पराधीन हो चुके हैं। पहले तकनीक का उपयोग मनुष्य करता था, अब तकनीक मनुष्य का उपयोग कर रही है।

    युवाओं की 24 घंटे की दिनचर्या में औसतन 06 घण्टे स्मार्टफोन अथवा किसी अन्य डिजिटल प्लेटफॉर्म पर व्यतीत होते हैं। युवा अपने जीवन का लगभग एक चौथाई हिस्सा यदि किसी अन्य सार्थक कार्य में लगायें, तो यह उसके स्वास्थ्य व देश तथा समाज के लिए उपयोगी हो सकता है। यही कारण है कि अच्छे लेखन तथा लेखकों के प्रति आम जनमानस का रुझान कम होता जा रहा है। टेक्नोलॉजी का उपयोग करना अच्छी बात है लेकिन हम टेक्नोलॉजी के दास बन जाएंगे, तो यह देश व समाज के लिए उचित नहीं होगा।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश इस दृष्टि से बहुत सौभाग्यशाली है कि आम जनमानस की सुविधा हेतु वैदिक संस्कृत को व्यावहारिक संस्कृत का स्वरूप प्रदान करने वाले महर्षि वाल्मीकि ने उत्तर प्रदेश की धरती पर जन्म लिया। उन्होंने रामायण के रूप में दुनिया का पहला महाकाव्य रचा था। समय के अनुरूप संस्कृत के अतिरिक्त अन्य भाषाओं में भी साहित्य का सृजन किया गया। गोस्वामी तुलसीदास जी ने जब रामायण की रचना संस्कृत में करना प्रारम्भ किया, तो वह जितना लिखते थे, उतना गायब हो जाता था। कहा जाता है कि हनुमान जी ने उन्हें दर्शन देते हुए कहा कि रामायण की रचना स्थानीय भाषा में करें। तब उन्होंने श्रीरामचरितमानस की रचना अवधी भाषा में की। आज प्रत्येक घर में श्रीरामचरितमानस का पाठ अवधी भाषा में किया जाता है। हमें कालजयी रचनाओं को आगे बढ़ाने के लिए लेखकों को प्रोत्साहित करने के साथ-साथ आम जनमानस को भी जागरूक करना चाहिए। कालजयी रचनाएं लिखने वाले लेखकों के प्रति सम्मान का भाव होना चाहिए। उनकी कृतियों को घर-घर तक पहुंचाने का कार्य किया जाना चाहिए। भारत की परम्परा इस कार्य के साथ सदैव जुड़ी रही है। पाठकों को इस कार्य के साथ जोड़ने के लिए तैयार होना होगा। चिंतन की परम्परा को विकसित करना होगा। लेखकों को बच्चों, युवाओं तथा वृद्धजन आदि से सम्बन्धित अलग-अलग विषयों पर कालजयी रचनाएं लिखनी पड़ेंगी। पाठकों की रुचि का पूरा ध्यान रखना होगा। एक समय था जब लोग मोटे-मोटे ग्रंथ खरीदते थे। आज के समय में लोगों को कम पेज की रचनात्मक कृतियों को रोचक तरीके से उपलब्ध कराने पर ध्यान देना होगा। उन्होंने लेखकों, समाज के सुधीजनों तथा नेतृत्व वर्ग से लेखन कार्य का आह्वान करते हुए कहा कि इससे आने वाली पीढ़ियों तथा समाज को मार्गदर्शन प्राप्त हो सकेगा।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हम सभी उस महान परम्परा के वारिस हैं, जहां युद्ध भूमि में श्रीमद्भगवद्गीता के रूप में सर्वश्रेष्ठ ग्रंथ की रचना की जाती है। 5,000 वर्षों से श्रीमद्भगवद्गीता हम सभी के लिए प्रेरणा का केन्द्र बनी हुई है। कुरुक्षेत्र धर्म क्षेत्र हो गया। आज भी प्रत्येक सनातन धर्मावलम्बी कुरुक्षेत्र जाकर प्राचीन कूप में स्नान करने की इच्छा रखता है।

    भारत की परम्परा प्राचीन काल से ही ज्ञान के प्रति आग्रही रही है। यह परम्परा मूल रूप से श्रवण, मनन, और निदिध्यासन की है। अर्थात् सुनना, मनन करना तथा सद्विचारों का अपने जीवन में आचरण करना। श्रीमद्भागवतगीता में व्यक्त किया गया ’न हि ज्ञानेन सदृशं पवित्रमिह विद्यते’ का भाव हम सबको प्रेरणा प्रदान करता है। एक कालखण्ड के बाद हमारी ऋषि परम्परा को इस बात का एहसास हुआ होगा कि एक समय ऐसा भी आएगा, जब लोग इस परम्परा के प्रति आग्रही नहीं बन सकेंगे, तो लखनऊ के समीप स्थित सीतापुर के नैमिषारण्य में भारत की वैदिक ज्ञान की परम्परा को हजारों ऋषि मुनियों ने अपने चिंतन तथा मनन से लिपिबद्ध किया था। परिणामस्वरूप नैमिषारण्य एक तीर्थ के रूप में विकसित हुआ।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि गोमती केवल नदी नहीं है, बल्कि यह एक संस्कृति भी है। देश में नदियां संस्कृति के रूप में मान्य रही हैं। हम सभी ने उस संस्कृति को सभ्यता के साथ जोड़ा है। दुनिया की सभी प्राचीन संस्कृतियां किसी न किसी नदी के तट पर विकसित हुई हैं। प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन में लखनऊ विकास प्राधिकरण तथा जिला प्रशासन के सहयोग से लखनऊ की जीवनधारा गोमती नदी के तट पर गोमती पुस्तक महोत्सव के तृतीय संस्करण का आयोजन किया जा रहा है। इस पुस्तक महोत्सव का आयोजन 09 से 17 नवम्बर, 2024 तक किया जाएगा। नेशनल बुक ट्रस्ट ने प्रदेश सरकारके साथ मिलकर यह अच्छी पहल की है। इस पहल को घर-घर तक पहुंचाना होगा।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि लखनऊ के साथ-साथ प्रदेश के सभी मण्डल मुख्यालयों पर नेशनल बुक ट्रस्ट के इस प्रयास को आगे बढ़ाना होगा। जिला प्रशासन प्रयास करे कि इस पुस्तक महोत्सव में अगले 09 दिनों तक लखनऊ की प्रत्येक संस्था की उपस्थिति हो। जो भी व्यक्ति पुस्तक महोत्सव में आएं अनी रूचि के अनुसार किसी न किसी पुस्तक का क्रय अवश्य करे। यहां उन्हें अपनी रूचि पर टिप्पणी भी देनी चाहिए। हमें पढ़ने की रूचि विकसित करनी होगी। यदि युवा डिजिटल दुनिया के साथ-साथ कुछ समय रोचक पुस्तकों को पढ़ने तथा रचनात्मक कार्यों में व्यतीत करेंगे, तो उन्हें इसका लाभ प्राप्त होगा। उन्होंने कहा कि गोमती पुस्तक महोत्सव ऊंचाईयां प्राप्त करेगा। हमें प्रदेश की आबादी के अनुरूप देश के सबसे बड़े पुस्तक महोत्सव के रूप में इसे आगे बढ़ाना होगा।

    नेशनल बुक ट्रस्ट के अध्यक्ष प्रो0 मिलिन्द सुधाकर मराठे तथा निदेशक श्री युवराज मलिक ने भी कार्यक्रम को सम्बोधित किया।

    इस अवसर पर सलाहकार मुख्यमंत्री श्री अवनीश कुमार अवस्थी, मण्डलायुक्त श्रीमती रोशन जैकब तथा अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।

    source: http://up.gov.in

  • उपचुनाव के दौरान CM Yogi Adityanath ने सपा पर जमकर हमला बोला, कहा कि अगर वे लातों से सुधार नहीं करेंगे तो..।

    उपचुनाव के दौरान CM Yogi Adityanath ने सपा पर जमकर हमला बोला, कहा कि अगर वे लातों से सुधार नहीं करेंगे तो..।

    उत्तर प्रदेश के CM Yogi Adityanath ने कहा, “जहां दिखे सपाई, वहां बिटिया घबराई।”

    उत्तर प्रदेश के CM Yogi Adityanath ने कहा, “जहां दिखे सपाई, वहां बिटिया घबराई।”मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को मीरापुर (मुजफ्फरनगर) में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के घटक दल राष्ट्रीय लोकदल (रालोद) की उम्मीदवार मिथिलेश पाल, कुंदरकी (मुरादाबाद) में भाजपा की उम्मीदवार रामवीर सिंह ठाकुर और गाजियाबाद से संजीव शर्मा के समर्थन में राज्य विधानसभा की नौ सीटों पर हो रहे उपचुनाव में यह बात कही। इन बैठकों में योगी ने सपा और कांग्रेस को विपक्षी दलों के समूह ‘इंडिया’ गठबंधन का प्रमुख घटक बताया।

    मुख्यमंत्री ने कहा, इन्हें लोकलाज की चिंता नहीं है; अगर वे लातों से उन्हें ठीक नहीं करेंगे तो यह कैसे काम करेगा?उन्होंने कहा, “गांव की बहन-बेटी सबकी बहन-बेटी है।” हम सब इसे मानते हैं, लेकिन सपा ने इसे तोड़ दिया है। सपा मीडिया सेल के सोशल मीडिया हैंडल पर उनके वास्तविक व्यवहार दिखाई देते हैं, जहां वे घटिया भाषा बोलते हैं।:”

  • CM Yogi Adityanath ji  ने लक्ष्मण मेला मैदान में आयोजित छठ महापर्व में अस्तांचलगामी सूर्य को अर्घ्य दिया

    CM Yogi Adityanath ji ने लक्ष्मण मेला मैदान में आयोजित छठ महापर्व में अस्तांचलगामी सूर्य को अर्घ्य दिया

    CM Yogi Adityanath ji ने भोजपुरिया सनेश स्मारिका का विमोचन किया तथा सभी को छठ महापर्व की बधाई दी

    • मुख्यमंत्री ने भोजपुरी में अपने सम्बोधन की शुरुआत की
    • पूरे दुनिया में हजारों भाषा अऊर बोली बा लेकिन भारत की संस्कृति के अलगे स्थान बा, ओही में भोजपुरी भाषा, संस्कृति आपन दुनिया में अलग मिठास और सुगन्ध के कारन सबसे हटके आपन पहिचान बनवले बा: मुख्यमंत्री
    • यह पर्व लोक आस्था के साथ-साथ राष्ट्रीय एकता, एकात्मता और अखण्डता के प्रतीक
    • भोजपुरी समाज देश और दुनिया में अपने साथ पर्व की सुगंध ले जाकर ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ की परिकल्पना को आगे बढ़ाने का कार्य कर रहा
    • पर्व और त्योहारों के आयोजन के पीछे यह भाव है कि हम सभी मिलकर भेदभाव को समाप्त कर एक समरस समाज की स्थापना कर सकंे तथा अपनी विरासत पर गौरव की अनुभूति कर सकें
    • विरासत को विकास के साथ जोड़कर प्रधानमंत्री जी ने देश में जो कार्य प्रारम्भ किये, उसके परिणामस्वरूप हम आज एक नये भारत का दर्शन कर रहे छठ लोक आस्था का एक ऐसा पर्व, जो सूर्य उपासना के साथ जुड़ा हुआ
    • पर्व और त्योहार तभी तक जीवित, जब तक हमारा राष्ट्र धर्म जीवित, राष्ट्रीय धर्म जिसमें हर व्यक्ति का हर काम देश के नाम हो, प्रधानमंत्री जी के जीवन का यही संकल्प है कि हर काम देश के नाम 140 करोड़ भारतवासी प्रत्येक परिस्थिति में देश की एकता व अखण्डता के पक्षधर और इसे मजबूती प्रदान करना चाहते

    उत्तर प्रदेश के CM Yogi Adityanath ji आज यहां लक्ष्मण मेला मैदान में आयोजित छठ महापर्व में शामिल हुए। उन्होंने अस्तांचलगामी सूर्य को अर्घ्य दिया। उन्होंने भोजपुरिया सनेश स्मारिका का विमोचन किया। मुख्यमंत्री जी ने सभी को छठ महापर्व की बधाई दी।

    छठ महापर्व के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में भोजपुरी में अपने सम्बोधन की शुरुआत करते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि ‘छठ पूजा’ में आइके हमरा बड़ा आनन्द महसूस हो रहल बा। लोक आस्था के महापर्व ‘छठ’ के आप सबके बहुत-बहुत बधाई अउर शुभकामना। छठी मइया की कृपा आप सबके ऊपर बनल रहे। सबके जीवन खुशहाल रहे। आप सबके जीवन में उमंग और उत्साह बनल रहे। परिवार खातिर कठिन व्रत रखने वाली माता और बहन लोगन के हमरी तरफ से विशेष मंगलकामना। पूरे दुनिया में हजारों भाषा अऊर बोली बा लेकिन भारत की संस्कृति के अलगे स्थान बा। ओही में भोजपुरी भाषा, संस्कृति आपन दुनिया में अलग मिठास और सुगन्ध के कारन सबसे हटके आपन पहिचान बनवले बा। अउर अलगे आपन इतिहास बा।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि यह पर्व लोक आस्था के साथ-साथ राष्ट्रीय एकता, एकात्मता और अखण्डता के प्रतीक हैं। यह प्रसन्नता का विषय है कि अखिल भारतीय भोजपुरी समाज के द्वारा आयोजित छठ महापर्व का यह 40वां वर्ष है। वर्ष 1984 से लक्ष्मण मेला मैदान में यह आयोजन लगातार होता आ रहा है। यह भोजपुरी समाज के साथ ही अखिल भारतीय समाज का उत्सव बन गया है। भोजपुरी समाज बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश से देश और दुनिया में जहां कहीं भी गया, अपने साथ पर्व की सुगंध ले जाकर ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ की परिकल्पना को आगे बढ़ाने का कार्य कर रहा है।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पर्व और त्योहारों के आयोजन के पीछे यह भाव है कि हम सभी मिलकर भेदभाव को समाप्त कर एक समरस समाज की स्थापना कर सकंे तथा अपनी विरासत पर गौरव की अनुभूति कर सकें। हम सभी मिलकर आयोजनों में सहभागी बनें। हम जाति, क्षेत्र तथा भाषा सहित किसी भी प्रकार के बन्धनों से मुक्त होकर समरस समाज की स्थापना के लिए मिलकर कार्य कर सकें, इस भाव से पर्व और त्योहार के कार्यक्रम आयोजित होते हैं। छठ के आयोजन ने भी देश भर में इसी भक्ति भावना से लोगों के मन एक स्थान बनाया है। विरासत को विकास के साथ जोड़कर प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने देश में जो कार्य प्रारम्भ किये, उसके परिणामस्वरूप हम आज एक नये भारत का दर्शन कर रहे हैं।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि चेन्नई, हैदराबाद या बैंग्लुरु सहित देश तथा दुनिया में लोगों ने छठ के आयोजन से जुड़़कर इसे नई ऊँचाई देने का कार्य किया है। यह भोजपुरी समाज के दुनिया में महत्व और पर्व और त्योहारों के माध्यम से लोक आस्था को जीवन्त बनाए रखने का एक आदर्श उदाहरण है। छठ महापर्व इसकी एक महत्वपूर्ण कड़ी है। हम छठी मैया की कृपा के लिए यह आयोजन करते हैं। यह लोक आस्था का एक ऐसा पर्व है, जो सूर्य उपासना के साथ जुड़ा हुआ है। सूर्य इस धरती के लोक देवता हैं। इस चराचर जगत की किसी भी वस्तु में सूर्य देव की कृपा के बिना जीवन नहीं आ सकता है। सूर्य देव की कृपा से ही हर ओर हलचल और जीवन है। सूर्य देव की उपासना, उनके प्रति कृतज्ञता व्यक्त करना भी है।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आज अस्तांचल सूर्य को अर्घ्य देकर माताएं अपने इस व्रत को और ऊँचाई प्रदान कर रही हैं। कल सूर्य उदय के साथ अर्घ्य देकर इस व्रत की पूर्णाहुति होगी। यह बहुत कठिन व्रत है। इतने कठिन व्रत के साथ जुड़कर व्रती और व्रत दोनों का महत्व बढ़ जाता है। जो संकल्प आज हमारी माताएं और बहनें ले रही हैं, भोजपुरी समाज इसके साथ जुड़कर इसे और मजबूती प्रदान कर रहा है। यही संकल्प हमारा अपने राष्ट्र के प्रति भी होना चाहिए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पर्व और त्योहार तभी तक जीवित हैं, जब तक हमारा राष्ट्र धर्म जीवित है। हम पर्व और त्योहार का आयोजन करें और उनके साथ जुड़े, लेकिन इन पर्व एवं त्योहारों का समावेश एक राष्ट्रीय धर्म के साथ भी करें। राष्ट्रीय धर्म जिसमें हर व्यक्ति का हर काम देश के नाम हो। प्रधानमंत्री जी के जीवन का यही संकल्प है कि हर काम देश के नाम। हम अपने पर्व और त्याहारों के माध्यम से समाज को जोड़ने का काम कर रहे हैं।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि जब 140 करोड़ भारतवासी एक स्वर से बोलते हैं, तो पूरी दुनिया उनकी बात को सुनती है। दुनिया का कोई भी देश भारत की ओर टेढ़ी नजरों से नहीं देेख सकता है। जब हम जाति, मत, मजहब आदि के आधार पर बटे होते हैं, तो दुनिया भी हमें नजर अन्दाज करती है। जब हम आपस में ही बटे रहेंगे, तो इसके दुष्परिणाम भी हमारे सामने आएंगे। 05 अगस्त, 2019 को प्रधानमंत्री जी की प्रेरणा से गृह मंत्री श्री अमित शाह जी ने कश्मीर के सम्बन्ध में भारतीय संविधान के अनुच्छेद 370 और 35ए को समाप्त करने की घोषणा की थी। इसके माध्यम से आतंकवाद के ताबूत पर अन्तिम कील ठोंकने का कार्य हुआ था। दुनिया ने भारत की ताकत का एहसास किया था। दुनिया ने यह देखा था कि यह नया भारत है।

    नया भारत किसी को नुकसान नहीं पहुंचाएगा, लेकिन यदि कोई इसे छेड़ेगा, तो उसे छोड़ेगा भी नहीं। यह न झुकेगा, न डिगेगा, न हटेगा, बल्कि राष्ट्र की रक्षा करने के लिए सब कुछ न्योछावर करने के लिए तैयार होगा। भारत की एकता और अखण्डता को बनाए रखने के लिए जो भी कठिन से कठिन कदम उठाने की आवश्यकता पड़ेगी, उसे उठाने में हिचकेगा नहीं। कश्मीर आज एक बार फिर से भारत का स्वर्ग बनने की ओर अग्रसर है। वहां बड़े-बड़े इन्फ्रास्ट्रक्चर के कार्य हो रहे हैं। कश्मीर में टनल, आई0आई0टी0, आई0आई0एम0, एम्स जैसे संस्थान बन रहे हैं।प्रधानमंत्री जी ने कश्मीर को सुरक्षा की गारण्टी दी है। इसके लिए कश्मीर से अनुच्छेद 370 को समाप्त किया गया। आज कश्मीर विकास की मुख्य धारा से जुड़कर आगे बढ़ रहा है।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि 140 करोड़ भारतवासी प्रत्येक परिस्थिति में देश की एकता व अखण्डता के पक्षधर हैं और इसे मजबूती प्रदान करना चाहते हैं। जो भी इसके साथ खिलवाड़ करेगा, उसेे मुंहतोड़ जवाब देने के लिए हर भारतवासी तैयार है।

    इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री श्री ब्रजेश पाठक, विधान परिषद सदस्य श्री गोविन्द नारायण शुक्ला एवं अन्य जनप्रतिनिधिगण, मुख्य सचिव श्री मनोज कुमार सिंह, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री एवं सूचना श्री संजय प्रसाद, सूचना निदेशक श्री शिशिर, अखिल भारतीय भोजपुरी समाज के अध्यक्ष श्री प्रभुनाथ राय एवं गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।

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  • CM Yogi Adityanath ji ने जनपद हरदोई में सड़क दुर्घटना में हुई जनहानि पर गहरा शोक व्यक्त किया

    CM Yogi Adityanath ji ने जनपद हरदोई में सड़क दुर्घटना में हुई जनहानि पर गहरा शोक व्यक्त किया

    CM Yogi Adityanath ji: घायल लोगों का समुचित उपचार कराया जाए

    • दुर्घटना में दिवंगत हुए लोगों के परिजनों को 02-02 लाख रु0 तथा गम्भीर रूप से घायल लोगों को 50-50 हजार रु0 की आर्थिक सहायता तत्काल प्रदान किए जाने के निर्देश

    उत्तर प्रदेश के CM Yogi Adityanath ji ने जनपद हरदोई में सड़क दुर्घटना में हुई जनहानि पर गहरा शोक व्यक्त किया है। उन्होंने शोक संतप्त परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने जिला प्रशासन को दुर्घटना में घायल लोगों का समुचित उपचार कराने के निर्देश दिए हैं।

    मुख्यमंत्री जी ने जिला प्रशासन को इस दुर्घटना में दिवंगत हुए लोगों के परिजनों को 02-02 लाख रुपये तथा गम्भीर रूप से घायल लोगों को 50-50 हजार रुपये की आर्थिक सहायता तत्काल प्रदान किए जाने के निर्देश दिए हैं।

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  • CM Yogi Adityanath ji ने प्रदेश में धान खरीद की समीक्षा की

    CM Yogi Adityanath ji ने प्रदेश में धान खरीद की समीक्षा की

    CM Yogi Adityanath ji: धान खरीद प्रक्रिया को पूरी तत्परता एवं पारदर्शिता के साथ संचालित करने के लिए दिशा-निर्देश दिए

    • प्रदेश सरकार के लिए किसानों का हित सर्वोपरि, धान खरीद में किसी भी स्तर पर लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी: मुख्यमंत्री
    • प्रत्येक दशा में खरीद के 48 घण्टे में कृषक को भुगतान किया जाना सुनिश्चित किया जाए
    • क्रय केन्द्रों पर किसानों की बुनियादी सुविधाओं व आवश्यकताओं का पूरा ध्यान रखा जाए
    • क्रय केन्द्रों पर सी0सी0टी0वी0 कैमरों के माध्यम से प्रत्येक गतिविधि की निगरानी की जाए
    • समस्त कार्यों की मुख्यालय से अनवरत मॉनीटरिंग की जाएप्रदेश सरकार ने फेयर प्राइस शॉप को मॉडल फेयर प्राइस शॉप बनाने की कार्यवाही को आगे बढ़ाया

    CM Yogi Adityanath ji ने आज यहां अपने सरकारी आवास पर आहूत एक उच्च स्तरीय बैठक में प्रदेश में धान खरीद की समीक्षा की। उन्होंने मूल्य समर्थन योजना के अन्तर्गत धान खरीद प्रक्रिया को पूरी तत्परता एवं पारदर्शिता के साथ संचालित करने के निर्देश दिए।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि प्रदेश सरकार के लिए किसानों का हित सर्वोपरि है। धान खरीद में किसी भी स्तर पर लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। किसानों की सुविधा के दृष्टिगत प्रदेश के सभी क्रय केन्द्र क्रियाशील रहें। प्रत्येक दशा में खरीद के 48 घण्टे में कृषक को भुगतान किया जाना सुनिश्चित किया जाए।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि क्रय केन्द्रों पर किसानांे के बैठने, छाया एवं पेयजल आदि बुनियादी सुविधाओं व आवश्यकताओं का पूरा ध्यान रखा जाए। बोरे की कमी कहीं न हो। टोकन व्यवस्था के माध्यम से खरीद की जाए। क्रय केन्द्रों पर वर्षा तथा अन्य प्राकृतिक आपदाओं से धान की सुरक्षा के पर्याप्त प्रबन्ध किये जाएं। क्रय केन्द्रों पर सी0सी0टी0वी0 कैमरों के माध्यम से प्रत्येक गतिविधि की निगरानी की जाए। कर्मचारियों की समय से तथा अनवरत उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। इन समस्त कार्यों की मुख्यालय से लगातार मॉनीटरिंग भी की जाए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश में प्रत्येक पात्र परिवार को राशन आसानी से तथा पूरी पारदर्शिता के साथ उपलब्ध कराने की दिशा में किये गए प्रयासों के अच्छे परिणाम प्राप्त हुए हैं। प्रदेश सरकार ने फेयर प्राइस शॉप को मॉडल फेयर प्राइस शॉप बनाने की कार्यवाही को आगे बढ़ाया है। इस अवसर पर मुख्य सचिव श्री मनोज कुमार सिंह, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री एवं सूचना श्री संजय प्रसाद, प्रमुख सचिव खाद्य श्री आलोक कुमार, खाद्य आयुक्त श्री सौरभ बाबू सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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  • CM Yogi: सभी विभागों द्वारा वर्तमान बजट में प्राविधानित धनराशि का यथोचित खर्च किया जाना सुनिश्चित किया जाए

    CM Yogi: सभी विभागों द्वारा वर्तमान बजट में प्राविधानित धनराशि का यथोचित खर्च किया जाना सुनिश्चित किया जाए

    CM Yogi ने वित्तीय वर्ष 2024-25 में बजट प्राविधान के सापेक्ष शासन द्वारा जारी स्वीकृतियों/विभागाध्यक्ष द्वारा आवंटित धनराशि/व्यय तथा भारत सरकार से लक्ष्य के सापेक्ष प्राप्त धनराशि की अद्यतन स्थिति की समीक्षा की

    • मुख्यमंत्री ने व्यापक जनहित के विकास कार्यों में तेजी लाने, परियोजनाओं की गुणवत्ता व समयबद्धता सुनिश्चित करने सहित अनेक दिशा-निर्देश दिए
    • वर्ष 2025 उ0प्र0 के लिए बड़ा अवसर, महाकुम्भ प्रयागराज के आयोजन में सभी विभागों की भूमिका, सभी विभाग महाकुम्भ से जुड़ी विभागीय परियोजनाओं को शीर्ष प्राथमिकता दें
    • जनपद गौतमबुद्धनगर और बुन्देलखण्ड औद्योगिक विकास प्राधिकरण में रजिस्ट्री कार्यालयों की संख्या बढाएं, बीडा के विकास की कार्यवाही में तेजी अपेक्षित
    • एक जनपद एक उत्पाद योजना ने स्थानीय शिल्पकला/उद्यम को बड़ा प्रोत्साहन दिया, इसकी अद्यतन स्थिति की जनपदवार समीक्षा की जाए
    • प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन में प्रदेश के समग्र विकास के लिए केन्द्र सरकार द्वारा हमें हर सम्भव सहायता मिल रही
    • आत्मनिर्भर नगर पंचायत और आत्मनिर्भर जिला पंचायत के लिए हर स्तर पर प्रयास करना होगा
    • आगामी दिनों में किसानों को खाद की आवश्यकता के दृष्टिगत कृषि और सहकारिता विभाग यह सुनिश्चित करें कि खाद की पर्याप्त उपलब्धता हो और सभी किसानों को यह आसानी से मिल जाए

    उत्तर प्रदेश के CM Yogi ने आज यहां अपने सरकारी आवास पर आहूत एक उच्चस्तरीय बैठक में वित्तीय वर्ष 2024-25 में बजट प्राविधान के सापेक्ष शासन द्वारा जारी स्वीकृतियों/विभागाध्यक्ष द्वारा आवंटित धनराशि/व्यय तथा भारत सरकार से लक्ष्य के सापेक्ष प्राप्त धनराशि की अद्यतन स्थिति की समीक्षा की। विभागवार समीक्षा के उपरान्त मुख्यमंत्री जी ने व्यापक जनहित के विकास कार्यों में तेजी लाने, परियोजनाओं की गुणवत्ता व समयबद्धता सुनिश्चित करने सहित अनेक दिशा-निर्देश दिए।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि वित्तीय वर्ष 2024-25 के 07 माह व्यतीत हो चुके हैं। सभी विभागों द्वारा वर्तमान बजट में प्राविधानित धनराशि का यथोचित खर्च किया जाना सुनिश्चित किया जाए। आवंटन और व्यय में तेजी की अपेक्षा है। विभाग स्तर भी पर खर्च की समीक्षा भी जाए। जिन विभागों में अब तक 55 फीसदी से कम व्यय हुआ है, वहां सम्बन्धित मंत्रिगण स्वयं विभागीय स्थिति की समीक्षा करें।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आगामी वर्ष 2025 उत्तर प्रदेश के लिए बड़ा अवसर है। महाकुम्भ प्रयागराज के आयोजन में सभी विभागों की भूमिका है। अतः सभी विभाग महाकुम्भ से जुड़ी विभागीय परियोजनाओं को शीर्ष प्राथमिकता दें। मुख्य सचिव स्तर से इसकी सतत् मॉनीटरिंग की जाए। महाकुम्भ में आने वाले अधिकांश श्रद्धालु और पर्यटक काशी, अयोध्या, मथुरा और विंध्यवासिनी धाम भी जाएंगे। ऐसे में इन पवित्र स्थलों की सुविधा और सुरक्षा की भी गहन समीक्षा की जाए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि जनपद गौतमबुद्धनगर और बुन्देलखण्ड औद्योगिक विकास प्राधिकरण (बीडा) में रजिस्ट्री कार्यालयों की संख्या बढाएं। बीडा के विकास की कार्यवाही में तेजी अपेक्षित है। इसकी प्रगति की सतत् समीक्षा भी की जाए। उन्होंने कहा कि लगातार प्रयासों से आज प्रदेश का सी0डी0 रेशियो 60 फीसदी हो गया है। इसी प्रकार सभी जनपदों को प्रयास करना होगा। हर जनपद में स्थानीय अधिकारी बैंकों के साथ संवाद बनाएं और लोगों को लाभ दिलाएं। हर जनपद का सी0डी0 रेशियो कम से कम राज्य औसत के बराबर होना चाहिए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि एक जनपद एक उत्पाद योजना ने स्थानीय शिल्पकला/उद्यम को बड़ा प्रोत्साहन दिया है। इसकी अद्यतन स्थिति की जनपदवार समीक्षा की जाए। ओ0डी0ओ0पी0 उत्पादों की डिमांड का आकलन कर उसके अनुरूप सप्लाई सुनिश्चित कराएं। निर्यात बढ़ोत्तरी के लिए सभी जनपदों को प्रयास करनाहोगा। स्वामी विवेकानन्द युवा सशक्तिकरण योजना के अन्तर्गत युवाओं को टैबलेट/स्मार्टफोन वितरित किए जाने की कार्यवाही तेज करें। इन टैबलेट/स्मार्टफोन में सरकार की लोककल्याणकारी योजनाओं/कार्यक्रमों की जानकारी उपलब्ध होनी चाहिए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के मार्गदर्शन में प्रदेश के समग्र विकास के लिए केन्द्र सरकार द्वारा हमें हर सम्भव सहायता मिल रही है। केन्द्र से सामंजस्य स्थापित कर अवशेष धनराशि प्राप्त करें। विभागीय मंत्री एवं विभागीय अधिकारी भारत सरकार के मंत्रिगणों/अधिकारियों से संवाद करें। केन्द्रांश के अभाव में परियोजना बाधित न रखें। नियमानुसार राज्यांश जारी कर कार्य जारी रखा जाए। सभी विभाग शत-प्रतिशत उपयोगिता प्रमाण पत्र समय पर भेजना सुनिश्चित करें।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आत्मनिर्भर नगर पंचायत और आत्मनिर्भर जिला पंचायत के लिए हर स्तर पर प्रयास करना होगा। पंचायतों को आय बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करें। आश्रम पद्धति विद्यालयों में छात्रावासों का मेंटेनेंस कराया जाना आवश्यक है।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आगामी दिनों में किसानों को खाद की आवश्यकता होगी। कृषि और सहकारिता विभाग मिलकर यह सुनिश्चित करें कि खाद की पर्याप्त उपलब्धता हो और सभी किसानों को यह आसानी से मिल जाए। यह सुनिश्चित करें कि खाद की कालाबाजारी न हो। ग्राम्य विकास, अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास, समाज कल्याण, नगर विकास, बेसिक शिक्षा, सिंचाई, आवास एवं शहरी नियोजन, राजस्व जैसे विभागों की अनेक योजनाएं सीधे तौर पर आम जनता को प्रभावित करने वाली हैं। इनमें बजट आवंटन और व्यय में तेजी की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि मेडिकल कॉलेज में लगाए जा रहे उपकरणों की गुणवत्ता मानक के अनुरूप हो। खराब गुणवत्ता/अधोमानक उपकरणों की आपूर्ति पर सम्बन्धित की जवाबदेही तय की जाए।

    इस अवसर पर वित्त मंत्री श्री सुरेश कुमार खन्ना, मुख्य सचिव श्री मनोज कुमार सिंह सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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  • CM Yogi ने चालू वित्तीय वर्ष में कर-करेत्तर राजस्व प्राप्तियों की अद्यतन स्थिति की समीक्षा की

    CM Yogi ने चालू वित्तीय वर्ष में कर-करेत्तर राजस्व प्राप्तियों की अद्यतन स्थिति की समीक्षा की

    CM Yogi : नियोजित प्रयासों से प्रदेश के कर-करेत्तर राजस्व संग्रह में सतत्वृद्धि हो रही, वर्तमान वित्तीय वर्ष में अक्टूबर माह तक विविध माध्यमों से 1.16 लाख करोड़ रु0 से अधिक का राजस्व संग्रह हुआ

    • यह जनता से एकत्रित राशि है जो प्रदेश के विकास में, जनता के हित में तथा लोक कल्याणकारी कार्यों में व्यय होगी हमें राजस्व संग्रह बढ़ाने के लिए नए स्रोत भी बनाने चाहिए
    • लगातार प्रयासों से आज प्रदेश में 31 लाख से अधिक जी0एस0टी0 पंजीकृत व्यापारी, इसे और बढ़ाया जाना चाहिए
    • अवैध मदिरा/कच्ची शराब बनाने और बेचने की गतिविधियों को बंद करने में हमें सफलता मिली, ऐसी गतिविधियों पर कार्रवाई लगातार जारी रखी जानी चाहिए
    • सामान्यजन की जरूरतों के दृष्टिगत स्टाम्प एवं निबन्धन से जुड़े नियमों को और सरल बनाया जाना चाहिए, रजिस्ट्री से राजस्व बढ़ाने के नए विकल्पों पर भी विचार किया जाए
    • खनन क्षेत्र में काफी पोटेंशियल, इसे पहचानें और राजस्व बढ़ाने के प्रयास करें

    उत्तर प्रदेश के CM Yogi ने आज यहां अपने सरकारी आवास पर आहूत एक उच्चस्तरीय बैठक में चालू वित्तीय वर्ष में कर-करेत्तर राजस्व प्राप्तियों की अद्यतन स्थिति की समीक्षा की। उन्होंने जी0एस0टी0, वैट, आबकारी, स्टाम्प एवं पंजीयन, परिवहन, भू-राजस्व और ऊर्जा विभागों में राजस्व संग्रह के लक्ष्य और उसके सापेक्ष प्राप्तियों का विवरण प्राप्त किया तथा विभागीय अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि नियोजित प्रयासों से प्रदेश के कर-करेत्तर राजस्व संग्रह में सतत वृद्धि हो रही है। वर्तमान वित्तीय वर्ष में अक्टूबर माह तक विविध माध्यमों से 1.16 लाख करोड़ रुपये से अधिक का राजस्व संग्रह हुआ है। इसमें जी0एस0टी0/वैट से लगभग 64 हजार करोड़ रुपये, एक्साइज टैक्स के रूप में 26 हजार करोड़ रुपये, स्टाम्प एवं पंजीयन से 17,700 करोड़ रुपये, खनन से 2,000 करोड़ रुपये तथा परिवहन से 6,300 करोड़ रुपये से अधिक का संग्रहीत कर राजस्व सम्मिलित है। यह जनता से एकत्रित राशि है जो प्रदेश के विकास में, जनता के हित में तथा लोक कल्याणकारी कार्यों में व्यय होगी।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हमें राजस्व संग्रह बढ़ाने के लिए नए स्रोत भी बनाने चाहिए। हर जनपद को दिए गए टारगेट की साप्ताहिक, पाक्षिक और मासिक समीक्षा करें। राजस्व संग्रह बढ़ोत्तरी के लिए किए गए प्रयासों के आधार पर हर एक अधिकारी की रिपोर्ट तैयार करें। उन्होंने कहा कि लगातार प्रयासों से आज प्रदेश में 31 लाख से अधिक जी0एस0टी0 पंजीकृत व्यापारी हैं। इसे और बढ़ाया जाना चाहिए। प्रदेश में अपार सम्भावनाएं हैं, उसका लाभ उठाने की आवश्यकता है। अधिकारियों की जवाबदेही तय करें। पोसिं्टग मेरिट के आधार पर ही होनी चाहिए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि जी0एस0टी0 की चोरी/अपवंचन की कोशिशों को रोकने के लिए सजगता बढ़ाये जाने की जरूरत है। विशेष अनुशासनिक इकाइयों और सचल दल इकाइयों की सक्रियता को और बढ़ाया जाना आवश्यक है। यद्यपि हाल के समय में इनकी सजगता से कर चोरी/अपवंचन पर प्रभावी रोक लगाने में सफलता मिली है। फिर भी अभी कार्यशैली को और बेहतर करने की गुंजाइश है।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि राजस्व बढ़ोत्तरी में एक्साइज विभाग की बड़ी भूमिका है। जनपदवार टारगेट की साप्ताहिक समीक्षा करें। जहां भी लापरवाही हो रही हो, सम्बन्धित अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई में देर न करें। यह सुनिश्चित कराएं कि डिस्टिलरी में जीरो लिक्विड डिस्चार्ज हो। नदियां इनके वेस्ट से प्रदूषित न हों। इण्डस्ट्री से संवाद करें, उन्हें तकनीक अपनाने के लिए प्रेरित करें। अवैध मदिरा/कच्ची शराब बनाने और बेचने की गतिविधियों को बंद करने में हमें सफलता मिली है। ऐसी गतिविधियों पर कार्रवाई लगातार जारी रखी जानी चाहिए। दूसरे प्रदेशों से अनाधिकृत मदिरा प्रदेश में न आने पाए, इसके लिए हर समय एक्टिव रहना होगा। राजस्व संग्रह लक्ष्य के सापेक्ष आबकारी विभाग द्वारा और बेहतर प्रयास किया जाना अपेक्षित है।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि सामान्यजन की जरूरतों के दृष्टिगत स्टाम्प एवं निबन्धन से जुड़े नियमों को और सरल बनाया जाना चाहिए। बिल्डर-बायर्स के बीच समस्याओं का समाधान तेजी के साथ किया जाए। आवास एवं विकास परिषद, विकास प्राधिकरण अथवा निजी बिल्डर, जहां कहीं भी रजिस्ट्री लम्बित है, दोनों पक्षों से संवाद कर हल निकालें। हमें हर एक बायर के हितों की सुरक्षा करनी है। बायर को उसके फ्लैट की रजिस्ट्री समय से मिलनी चाहिए। इसके लिए हर आवश्यक कदम उठाए जाएं। रजिस्ट्री से राजस्व बढ़ाने के नए विकल्पों पर भी विचार किया जाए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि बिना परमिट/बिना फिटनेस एक भी वाहन सड़क पर नहीं चलना चाहिए। दुर्घटनाओं को कम करने के लिए जागरूकता बढाएं। खनन सत्र प्रारम्भ हो चुका है। अवैध खनन तथा ओवरलोडिंग की गतिविधियों पर सख्ती से रोक लगाई जाएं। खनन क्षेत्र में काफी पोटेंशियल है, इसे पहचानें और राजस्व बढ़ाने के प्रयास करें।

    इस अवसर पर वित्त मंत्री श्री सुरेश कुमार खन्ना, आबकारी एवं मद्य निषेध राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री नितिन अग्रवाल, स्टाम्प तथा न्यायालय शुल्क एवं पंजीयन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री रवीन्द्र जायसवाल, मुख्य सचिव श्री मनोज कुमार सिंह सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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  • CM Yogi Adityanath ji  ने लोक निर्माण विभाग की विभिन्न परियोजनाओं की प्रगति की समीक्षा की

    CM Yogi Adityanath ji ने लोक निर्माण विभाग की विभिन्न परियोजनाओं की प्रगति की समीक्षा की

    CM Yogi Adityanath ji: विकास कार्यों का लाभ सभी 75 जनपदों को मिले

    • सड़क निर्माण की परियोजना तैयार करते समय स्थानीय आवश्यकताओं को ध्यान में रखा जाए
    • प्रत्येक परियोजना के लिए समयबद्धता और गुणवत्ता अनिवार्य शर्त, गड़बड़ी मिलने पर जे0ई0 से लेकर चीफ इंजीनियर तक सबकी जवाबदेही तय होगी
    • एग्रीमेंट के नियमों का उल्लंघन होने पर कांट्रेक्टर/फर्म को ब्लैकलिस्ट कर कठोर कार्रवाई की जाएगी
    • प्रदेश की अंतरराज्यीय तथा अंतरराष्ट्रीय सीमा पर भव्य ‘मैत्री द्वार’ बनाने का कार्य तेजी के साथ पूरा कराया जाए
    • धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण मार्गों पर अच्छी सड़कें हों, पर्यटकों/श्रद्धालुओं को आवागमन में सुविधा हो, इसके दृष्टिगत सड़कों का निर्माण/चौड़ीकरण किया जा रहा
    • सभी पंथों, सम्प्रदायों के धार्मिक, ऐतिहासिक, पौराणिक महत्व के स्थलों को जोड़ा जाए
    • सड़क निर्माण/चौड़ीकरण/सुदृढ़ीकरण के कार्यों में पर्यावरण संरक्षण की
    • भावना का पूरा ध्यान रखा जाए, कहीं भी अनावश्यक वृक्ष नहीं कटने चाहिए
    • शहरों की घनी आबादी को जाम से मुक्ति दिलाने हेतु बाईपास रिंग रोड/फ्लाईओवर का निर्माण कराया जाना चाहिए, निर्माण कार्य का प्रस्ताव
    • शहर/कस्बे की आबादी एवं प्राथमिकता के आधार पर तैयार किया जाए

    CM Yogi Adityanath ji ने आज यहां अपने सरकारी आवास पर आहूत एक महत्वपूर्ण बैठक में लोक निर्माण विभाग की विभिन्न परियोजनाओं की प्रगति की समीक्षा की। उन्होंने निर्माणकार्यों में समयबद्धता और गुणवत्ता सुनिश्चित करने के सम्बन्ध में आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि सड़क निर्माण की परियोजना तैयार करते समय स्थानीय आवश्यकताओं को ध्यान में रखा जाए। प्रत्येक परियोजना के लिए समयबद्धता और गुणवत्ता अनिवार्य शर्त है, इससे समझौता नहीं किया जा सकता। गड़बड़ी मिलने पर जे0ई0 से लेकर चीफ इंजीनियर तक सबकी जवाबदेही तय होगी। एग्रीमेंट के नियमों का उल्लंघन होने पर कांट्रेक्टर/फर्म को ब्लैकलिस्ट कर कठोर कार्रवाई की जाएगी। पेटी कॉन्ट्रेक्टर/सबलेट की व्यवस्था स्वीकार नहीं की जानी चाहिए।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि डी0पी0आर0 को अंतिम रूप देने के साथ ही कार्य प्रारम्भ करने और समाप्त होने की तिथि सुनिश्चित कर ली जानी चाहिए तथा इसका कड़ाई से अनुपालन किया जाए। बजट की कोई कमी नहीं होने दी जाएगी। पूर्ण हो चुके कार्यों की थर्ड पार्टी ऑडिट भी कराई जाए। सड़क और सेतु अथवा आमजन से जुड़ी अन्य निर्माण परियोजनाओं को स्वीकृति देने से पहले उसकी लोक महत्ता काआंकलन जरूर किया जाए। विकास में संतुलन सबसे आवश्यक है। पहले आवश्यकता की परख करें, प्राथमिकता तय करें। इसके पश्चात मेरिट के आधार पर किसी सड़क अथवा सेतु के निर्माण की स्वीकृति दें। विकास कार्यों का लाभ सभी 75 जनपदों को मिले।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि दीन दयाल उपाध्याय तहसील/ब्लॉक मुख्यालय योजना अन्तर्गत प्रदेश के समस्त तहसील/ब्लॉक मुख्यालय को जिला मुख्यालय से न्यूनतम दो लेन मार्गों से जोड़े जाने का कार्य तेजी से पूरा किया जाए। एक भी तहसील-एक भी ब्लॉक इससे अछूता न रहे। प्रदेश की अंतरराज्यीय तथा अंतरराष्ट्रीय सीमा पर भव्य ‘मैत्री द्वार’ बनाने का कार्य तेजी के साथ पूरा कराया जाए। जहां भूमि की अनुपलब्धता हो, तत्काल स्थानीय प्रशासन से सम्पर्क किया जाए। मैत्री द्वार सीमा पर ही बनाए जाएं। यह आकर्षक हों, यहां प्रकाश व्यवस्था भी अच्छी हो। अब तक 96 मार्गों पर प्रवेश द्वार पूर्ण/निर्माणाधीन हैं। अवशेष मार्गों पर प्रवेश द्वार निर्माण की कार्यवाही यथाशीघ्र पूरी कर ली जाए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि गन्ना विकास एवं चीनी उद्योग विभाग की सड़कों का निर्माण अब लोक निर्माण विभाग द्वारा ही कराया जा रहा है। यह किसानों-व्यापारियों के हित से जुड़ा प्रकरण है, इसे प्राथमिकता दें। यहां गड्ढे नहीं होने चाहिए। अभी लगभग 6000 किमी0 सड़कों का पुनर्निर्माण/चौड़ीकरण/सुदृढ़ीकरण किया जाना है। इन्हें एफ0डी0आर0 तकनीक से बनाया जाना चाहिए। इसके लिए बजट की कमी नहीं होने दी जाएगी।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण मार्गों पर अच्छी सड़कें हों, पर्यटकों/श्रद्धालुओं को आवागमन में सुविधा हो, इसके दृष्टिगत सड़कों के निर्माण/चौड़ीकरण किये जा रहे हैं। इसमें प्रत्येक जिले के सिख, बौद्ध, जैन, वाल्मीकि, रविदासी, कबीरपंथी सहित सभी पंथों, सम्प्रदायों के धार्मिक, ऐतिहासिक, पौराणिक महत्व के स्थलों को जोड़ा जाए। मार्ग का चयन मानक के अनुरूप ही हो। जनप्रतिनिधियों से प्राप्त प्रस्ताव के आधार पर धर्मार्थ कार्य विभाग और सम्बन्धित जिलाधिकारी के सहयोग से इसे समय से पूरा कराया जाए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि सड़क निर्माण/चौड़ीकरण/सुदृढ़ीकरण के कार्यों में पर्यावरण संरक्षण की भावना का पूरा ध्यान रखा जाए। कहीं भी अनावश्यक वृक्ष नहीं कटने चाहिए। सड़क निर्माण की कार्य योजना में मार्ग के बीच आने वाले वृक्षों के संरक्षण को अनिवार्य रूप से सम्मिलित किया जाए। देवरिया-बरहज मार्ग का सुदृढ़ीकरण किया जाना आवश्यक है। इस संबंध में आवश्यक प्रस्ताव तैयार कर प्रस्तुत करें।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि औद्योगिक विकास विभाग, एम0एस0एम0ई0 एवं जैव ऊर्जा विभाग द्वारा डिफेंस कॉरिडोर, औद्योगिक लॉजिस्टिक्स पार्क, औद्योगिक क्षेत्र और प्लेज पार्क योजना जैसी बड़े महत्व की योजनाओं पर कार्य किया जा रहा है। इन औद्योगिक क्षेत्रों तक आने-जाने के लिए चयनित मार्गों को यथासंभव फोर लेन मार्ग से जोड़ा जाना चाहिए। ऐसे राज्य मार्ग जो वर्तमान में दो-लेन एवं दो-लेन से कम चौड़े हैं उन्हें लोक महत्ता के अनुरूप न्यूनतम दो-लेन विद पेव्ड शोल्डर की चौड़ाई में निर्माण किया जाना चाहिए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि सभी विधान सभा क्षेत्रों के प्रमुख जिला मार्गों को न्यूनतम दो-लेन (7 मीटर) एवं अन्य जिला मार्गों को न्यूनतम डेढ़-लेन (5.50 मीटर) चौड़ाई में निर्माण कराया जाए। जनप्रतिनिधियों से प्रस्ताव लेकर, प्राथमिकता तय करें और कार्य प्रारम्भ कराएं। क्षतिग्रस्त सेतु, जनता द्वारा निर्मित अस्थाई पुल, संकरे पुल, बाढ़ के कारण प्रायः क्षतिग्रस्त होने वाले मार्गों पर पुल तथा सार्वजनिक, धार्मिक एवं पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण मार्गों पर सेतु निर्माण को प्राथमिकता में रखा जाए। हर विधान सभा क्षेत्र में जरूरत के अनुसार 03 लघु सेतुओं के निर्माण की कार्ययोजना तैयार की जाए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि जहां भी दीर्घ सेतु क्षतिग्रस्त हैं, उन्हें तत्काल ठीक कराया जाए। सभी जनपदों से प्रस्ताव लें, जहां दीर्घ सेतु की आवश्यकता हो, कार्ययोजना में सम्मिलित करें। शहरी क्षेत्रों में क्षतिग्रस्त/संकरे सेतुओं के स्थान पर नये सेतुओं का निर्माण कराया जाना आवश्यक है। इसका लाभ सभी जनपदांे को मिलना चाहिए। रेल ओवरब्रिज/रेल अंडरब्रिज से जुड़े प्रस्तावों को तत्काल भारत सरकार को भेजें। राज्य सरकार द्वारा इसमें हर जरूरी सहयोग किया जाए।

    मुख्यमंत्री जी ने कहा कि शहरों की घनी आबादी को जाम से मुक्ति दिलाने हेतु बाईपास रिंग रोड/फ्लाईओवर निर्माण कराया जाना चाहिए। निर्माण कार्य का प्रस्ताव शहर/कस्बे की आबादी एवं प्राथमिकता के आधार पर तैयार किया जाए। वर्ष 2011 की जनगणना के आधार पर ऐसी बसावट/ग्राम जिसकी आबादी 250 से अधिक हो तथा मार्ग की लम्बाई 01 किमी0 या उससे अधिक हो, उन्हें एकल कनेक्टिीविटी प्रदान किये जाने हेतु सम्पर्क मार्ग का निर्माण कराया जाए। इसी प्रकार, दो ग्रामों/बसावटों को जिनकी आबादी 250 से अधिक है, को इंटर-कनेक्टिविटी प्रदान किये जाने हेतु सम्पर्क मार्ग का निर्माण भी हो। इसके लिए सर्वे कराएं, आवश्यकता को परखें, फिर निर्णय लें।

    source: http://up.gov.in


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